नई दिल्ली। महाराष्ट्र के गवर्नर और केंद्रीय कैबिनेट की सिफारिश के बाद अब महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने की सिफारिश को राष्ट्रपति ने मंजूरी दे दी है। जिसके बाद राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू हो गया है। महाराष्ट्र के गवर्नर ने राष्ट्रपति को भेजी एक रिपोर्ट में महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लागाने की मांग की थी। कांग्रेस ने इसपर कहा कि महाराष्ट्र के राज्यपाल ने राष्ट्रपति शासन की सिफारिश करके संवैधानिक प्रक्रिया का मजाक उड़ाया है।
राज्यपाल ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि उनके पास कोई दूसरा विकल्प नहीं बचा, चुनाव परिणाम आए हुए 15 दिन हो गए हैं, और समय नहीं दिया जा सकता है, अनुछेद 356 लागू करने के लिए राष्ट्रपति से रिपोर्ट में सिफारिश की गई थी। इसके बाद राष्ट्रपति ने राज्यपाल की रिपोर्ट को केंद्रीय कैबिनेट को भेजा। कैबिनेट ने राष्ट्रपति शासन लगाने का फैसला लिया। जिसपर राष्ट्रपति ने अपनी मुहर लगा दी।
राज्यपाल ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि राज्य में सरकार बनने की कोई उम्मीद नहीं है, ऐसे में राष्ट्रपति शासन लागू किया जाए। राज्यपाल ने आज ही यह लेटर लिखा था। राज्यपाल ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि वर्तमान राजनीतिक हालात में स्थाई सरकार नहीं बन सकती है। अब ऐसी स्थिती में महाराष्ट्र में विधानसभा सस्पेंड रहेगी। महाराष्ट्र में अब 6 महीने के लिए अभी राष्ट्रपति शासन लगू रहेगा। हालांकि केंद्र सरकार उस से पहले भी इसे खत्म कर सकती है।