गुवाहाटी: राष्ट्रपति पद के लिए राजग उम्मीदवार राम नाथ कोविंद ने कहा कि वह राष्ट्रपति के पद को राजनीति से ऊपर रखने की कोशिश करेंगे और समाज के सभी वर्गों के लिए काम करेंगे। कोविंद ने यहां एक कार्यक्रम में कहा, मैं राष्ट्रपति के पद को राजनीति से ऊपर रखने की कोशिश करूंगा। मैं यह सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास करूंगा कि हर नागरिक एवं राज्य को सामाजिक-आर्थिक प्रणाली में न्याय मिले। उन्होंने कहा, मैं यह सुनिश्चित करने की कोशिश करूंगा कि जाति, लिंग, नस्ल, धर्म या क्षेत्र के आधार पर देश में किसी प्रकार का भेदभाव नहीं हो। मैं भारत के सर्वांगीण विकास के लिए कार्य करूंगा। उन्होंने कहा कि सैन्य बलों के सर्वोच्च कमांडर के तौर पर अंतरराष्ट्रीय सीमा की सुरक्षा उनकी प्राथमिकता होगी। ये भी पढ़ें: भारत और चीन में बढ़ी तल्खियां, जानिए किसके पास है कितनी ताकत
इससे पहले इटानगर में कोविंद ने कहा था कि राष्ट्रपति का पद राजनीति से परे है एवं उनका प्रयास देश की समृद्धि में सभी राज्यों को शामिल करना होगा। कोविंद ने यहां भाजपा विधायकों से कहा कि राष्ट्रपति कभी किसी पार्टी का नहीं होता। जाति, धर्म और संप्रदाय, राज्य से इतर सभी लोग समान हैं। मेरे लिए वोट बैंक नहीं बल्कि विकास महत्व रखता है।
कोविंद अरूणाचल प्रदेश के विधायकों का समर्थन हासिल करने के लिए केंद्रीय मंत्रियों नरेंद्र सिंह तोमर और किरेन रिजिजू, भाजपा महासचिव राम माधव, लोकसभा सांसद रामविचार नेताम एवं पूर्वोत्तर जनतांत्रिक गठबंधन :नेडा: के संयोजक हिमंता शर्मा के साथ एक दिन के दौरे पर यहां पहुंचे। उन्होंने कहा कि विकसित भारत और सभी वर्गों के लोगों के लिए समान विकास उनका सपना है। राज्यों और लोगों में समानता ही मंत्र होना चाहिए, ताकि देश का विकास हो।
उन्होंने कहा, समृद्ध सांस्कृतिक विरासत वाला अरूणाचल प्रदेश छोटा राज्य हो सकता है लेकिन मेरे लिए उत्तर प्रदेश और देश के राज्यों के समान ही यह महत्वपूर्ण है। कोविंद ने साथ ही कहा कि राजग सरकार के दौरान पूर्वोत्तर के लोगों के अलगाव की भावना खत्म हो गयी है। राजग उम्मीदवार ने पीपुल्स पार्टी ऑफ अरूणाचल :पीपीए: के नौ विधायकों के साथ अलग बैठक की। यह नेडा का घटक दल है।
ये भी पढ़ें: जानिए कौन है सैयद सलाहुद्दीन, जिसने कश्मीर घाटी को भारतीय बलों की कब्रगाह बनाने की खायी थी कसम
अगर सांप काटे तो क्या करें-क्या न करें, इन बातों का रखें ध्यान...