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'प्रणब के भाषण के बाद से RSS में शामिल होने के लिए लोगों के अनुरोध में वृद्धि, ज्यादातर अनुरोध बंगाल से'

राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (RSS) के वरिष्ठ नेता बिप्लब रॉय ने कहा कि नागपुर में सात जून को मुखर्जी के भाषण के बाद संगठन में शामिल होने के लिए संघ को लोगों की तरफ से कई आवेदन मिले हैं। रॉय ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘एक जून से छह जून के बीच औसतन हमें हमारी वेबसाइट ‘जॉइन आरएसएस’ पर राष्ट्रीय स्तर पर रोजाना 378 अनुरोध प्राप्त होते थे...

Edited by: India TV News Desk
Updated on: June 25, 2018 23:02 IST
मोहन भागवत और प्रणब...- India TV Hindi
मोहन भागवत और प्रणब मुखर्जी

कोलकाता: पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के इस महीने की शुरूआत में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के एक कार्यक्रम में शामिल होने के बाद उनके गृह राज्य में संगठन में शामिल होने का अनुरोध करने वाले लोगों की संख्या में वृद्धि हुई है।

राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (RSS) के वरिष्ठ नेता बिप्लब रॉय ने कहा कि नागपुर में सात जून को मुखर्जी के भाषण के बाद संगठन में शामिल होने के लिए संघ को लोगों की तरफ से कई आवेदन मिले हैं। रॉय ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘एक जून से छह जून के बीच औसतन हमें हमारी वेबसाइट ‘जॉइन आरएसएस’ पर राष्ट्रीय स्तर पर रोजाना 378 अनुरोध प्राप्त होते थे। सात जून को हमारे शिक्षा वर्ग को मुखर्जी के संबोधित करने के बाद से हमें 1779 आवेदन मिले हैं। सात जून के बाद हमें रोजाना 1200-1300 अनुरोध मिल रहे हैं।’’

उन्होंने कहा कि इसमें से 40 फीसदी अनुरोध बंगाल से आए हैं। यह पूछे जाने पर कि मुखर्जी के कार्यक्रम में हिस्सा लेने से क्या लोगों के बीच आरएसएस की लोकप्रियता बढ़ी है तो उन्होंने कहा, ‘‘इस तरीके से व्याख्या करना सही नहीं होगा कि मुखर्जी की वजह से आरएसएस की स्वीकार्यता बढ़ी है। आरएसएस समाज में अपनी गतिविधियों की वजह से लोगों के बीच लोकप्रिय है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन, हां। मुखर्जी के भाषण के बाद से लोगों में दिलचस्पी बढ़ी है। यह उसके कारणों में से एक है।’’

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