नई दिल्ली: कल यानी शुक्रवार को देश की संसद में जो हुआ वो पहले कभी नहीं हुआ। कल देश ने पहली बार संसद में किसी सांसद को आंख मारते देखा और आंख मारने वाले ये सांसद थे देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस के सबसे नए अध्यक्ष राहुल गांधी। कल लोकसभा में मोदी सरकार के ख़िलाफ़ अविश्वास प्रस्ताव पेश हुआ। कोई अविश्वास प्रस्ताव के समर्थन में बोल रहा था तो कोई इसके विरोध में। पूरे देश की निगाहें संसद की कार्यवाही पर टिकी हुई थीं। अचानक टीवी पर एक तस्वीर दिखी जिस पर संसद से लेकर देश भर में हंगामा खड़ा हो गया।
तस्वीर में साफ-साफ दिख रहा था कि राहुल किसी को आंख मार रहे थे। राहुल ने अपनी पार्टी के सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया की तरफ देखा और मुस्कुराते हुए आंख मार दी। बहस के सबसे आखिर में जब प्रधानमंत्री मोदी के बोलने की बारी आई तो उन्होंने पूरी संसद के सामने राहुल गांधी का मज़ाक उड़़ाया। मोदी राहुल के आंख मारने का मज़ाक उड़ा रहे थे और संसद में सत्तापक्ष के सांसद ठहाके लगा रहे थे।
राहुल का आंख मारना इतना हैरान करने वाला था कि देश भर में अविश्वास प्रस्ताव से ज्यादा चर्चा इस आंख मारने की घटना की हो रही थी।
राहुल गांधी ने आंख क्यों मारी
कांग्रेस अध्यक्ष ने टीडीपी की तरफ से पेश अविश्वास प्रस्ताव के समर्थन में बोला और अपना भाषण देने के बाद वो सीधे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पास पहुंचे। मोदी अपनी सीट पर बैठे थे। राहुल उनके पास पहुंचे और मोदी को अपनी सीट से उठने का इशारा किया। राहुल को अपने पास इस तरह अचानक देख कर मोदी हैरान रह गए लेकिन वो अपनी सीट से नीं उठे। इसके बाद राहुल मोदी से गले मिले।
राहुल जाने लगे तो मोदी ने उन्हें बुलाया, उनसे हाथ मिलाई और उनकी पीठ थपथपाई। पूरी संसद भौचक होकर ये नज़ारा देख रही थी। मोदी से गले मिलने के बाद राहुल अपनी सीट पर पहुंचे और साथी सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिंया को देख कर आंख मार दी। मोदी ने जिस तरह राहुल के आंख मारने का मज़ाक उड़ाया था उसी तरह उनके सीट से उठने के लिए कहने पर भी मज़ाक उड़ाया।
बता दें कि लोकसभा में सरकार के खिलाफ लाया गया अविश्वास प्रस्ताव शुक्रवार रात 11 बजे मत विभाजन के बाद गिर गया। मतदान में प्रस्ताव के पक्ष में 126 मत पड़े, जबकि विरोध में 325 मत पड़े। इस तरह लोकसभा में बुधवार को लाया गया अविश्वास प्रस्ताव शुक्रवार को मतदान के बाद गिर गया। भाजपा के दो सांसद के. सी. पटेल और भोला सिंह बीमार थे लेकिन वे मतदान के लिए संसद पहुंचे। वहीं सांसद पप्पू यादव ने मतदान में हिस्सा नहीं लिया और मतदान से पहले सदन से बहिर्गमन किया।