मुंबई। महाराष्ट्र में विपक्ष के नेता एवं सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री फडणवीस ने शनिवार को दावा किया कि वह राकांपा नेता अजित पवार थे जिन्होंने राज्य में सरकार बनाने के लिए उनसे संपर्क किया था। महाराष्ट्र में जब शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा के बीच सरकार बनाने के लिए बातचीत चल रही थी तभी अचानक 23 नवंबर को सुबह जल्दबाजी में फडणवीस ने मुख्यमंत्री के तौर पर और अजित पवार ने उपमुख्यमंत्री के तौर पर शपथ लेकर सबको हैरान कर दिया था।
हालांकि यह सरकार 80 घंटे में ही गिर गई थी। फडणवीस ने एक समाचार चैनल से बातचीत करते हुए कहा कि अजित पवार ने उन्हें राकांपा के सभी 54 विधायकों के समर्थन का आश्वासन दिया था। फडणवीस ने कहा, ‘‘ उन्होंने मेरी कुछ विधायकों से बात कराई जिन्होंने मुझसे कहा कि वे भाजपा के साथ जाना चाहते हैं। अजित पवार ने मुझसे यह भी कहा कि उन्होंने इस बारे में (राकांपा प्रमुख) शरद पवार से भी चर्चा की है।’’
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘अजित पवार ने हमसे संपर्क किया और कहा कि राकांपा कांग्रेस के साथ नहीं जाना चाहती है। तीन दलों (शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा) का गठबंधन (सरकार) नहीं चल सकता। हम (राकांपा) स्थिर सरकार के लिए भाजपा के साथ जाना चाहते हैं।’’
भाजपा नेता ने माना कि यह कदम उल्टा पड़ा और कहा कि आने वाले दिनों में इस बारे में और बातें सामने आएंगी। उन्होंने यह भी कहा कि सिंचाई घोटाले में अजित पवार को मिली क्लीन चिट से उनका कोई लेना देना नहीं है। उन्होंने कहा कि ‘‘भ्रष्टाचार निरोधक शाखा का हलफनामा 27 नवंबर का है और मैंने 26 नवंबर को इस्तीफा दे दिया था।’’