नई दिल्ली: भाजपा सांसद हंसराज हंस ने बुधवार को लोकसभा में शायराना अंदाज में अपनी बात रखते हुए नौजवानों के नशे की चपेट में आने और सीवर में काम करते हुए सफाईकर्मियों की मौत के मुद्दे उठाए जिस पर कांग्रेस के शीर्ष नेताओं सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने भी मेजें थपथपाईं।
लोकसभा में शून्यकाल के दौरान हंसराज हंस ने पहली बार सदन में अपनी बात रखी। उन्होंने सूफीवाद, पंजाब एवं दिल्ली में नौजवानों के नशे की गिरफ्त में आने और सफाईकर्मियों की स्थिति का उल्लेख करते हुए कहा कि पूरा सदन इस पर ध्यान दे। उन्होंने कहा कि पंजाब गुरुनानक देव और कई बड़े सूफी संतों की धरती रही है, लेकिन पहले आतंकवाद और अब नशा इसे नुकसान पहुंचा रहा है।
उत्तर पश्चिम दिल्ली से निर्वाचित हुए हंसराज ने कहा कि दिल्ली में नौजवान नशे की चपेट में आ रहे हैं और यह सबकी जिम्मेदारी है कि नौजवानों की जिंदगी बचाएं। उन्होंने कहा कि सीवर में सफाईकर्मियों की मौत हो जाती है और उन पर कोई ध्यान नहीं देता, लेकिन पहली बार हमारे ‘महबूब प्रधानमंत्री’ नरेंद्र मोदी ने गरीबों की फिक्र की है।
हंसराज ने सूफीवाद का जिक्र करते हुए शायराना अंदाज में कहा कि एक दिन सबको दुनिया से जाना है और जाति, धर्म और धन सबकुछ यहीं छूट जाएगा।
अपना भाषण खत्म करने पर उन्होंने ‘भारत माता की जय’ का नारा लगाया जिस पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि आप नए सदस्य हैं, लेकिन इस तरह से सदन में नारे नहीं लगा सकते। हंसराज का भाषण खत्म होने पर सत्तापक्ष के सदस्यों के साथ ही सोनिया और राहुल सहित विपक्षी सदस्यों ने भी मेजें थपथपाईं।