नई दिल्ली: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने केंद्र की मोदी सरकार में समूचे देश के लिए खतरा पैदा होने का दावा करते हुए शनिवार को कहा कि किसान, नौजवान और महिलाएं त्रस्त हैं, लेकिन भारतीय जनता पार्टी के नेता और मंत्री मस्त हैं। कांग्रेस के 84वें महाधिवेशन में सिंधिया ने कहा कि इस सरकार को करीब 4 साल बीत गए लेकिन ‘अच्छे दिन’ का पता नहीं है। उन्होंने कहा, ‘मौजूदा समय में किसान, मजदूर, नौजवान और महिलाएं त्रस्त हैं, लेकिन भाजपा के नेता और मंत्री मस्त हैं। क्या यही अच्छे दिन हैं?’
लोकसभा में पार्टी के मुख्य सचेतक ने आरोप लगाया कि मोदी सरकार में पाकिस्तान रोजाना संघर्ष विराम का उल्लंघन कर रहा है, लेकिन कुछ नहीं किया जा रहा है। सिंधिया ने कहा कि चुनाव से पहले इन्होंने एक सिर के बदले 10 सिर की बदले की बात की थी लेकिन सरकार में आने के बाद साडी, आम और बिरयानी वाली कूटनीति शुरू कर दी गई। उन्होंने कहा कि किसान परेशान हैं और उनकी परेशानी पर सरकार मूकदर्शक बनी हुई है। सिंधिया ने कहा, ‘मुंबई में आंदोलन करने वाले किसानों को शहरी माओवादी कहा गया। आज पूरा हिंदुस्तान खतरे में है।’ उन्होंने दावा किया कि कांग्रेस ही नौजवानों, किसानों और दूसरे वर्गों को परेशानी से बाहर निकाल सकती है।
कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि मौजूदा सरकार में राजनीतिक प्रतिशोध से काम हो रहा है। विरोधियों के खिलाफ जांच एजेंसियों का इस्तेमाल किया जा रहा है। उन्होंने सुझाव दिया कि कांग्रेस के राजनीतिक प्रस्ताव में राजनीतिक प्रतिशोध वाली बात को शामिल किया जाए। सिंघवी ने यह भी कहा कि किसी घोटाले पर सिर्फ प्रधानमंत्री मोदी को निशाना बनाने से उनके मंत्री बच जाते हैं। इसलिए मंत्रियों का भी विरोध होना चाहिए। पूर्व केंद्रीय मंत्री दीप दासमुंशी ने कहा कि पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में जहां कांग्रेस पहले की तरह मजबूत नहीं है, वहां यह फैसला करना होगा कि हमें अकेले चुनाव लड़ना है या गठबंधन में चुनाव लड़ना है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के लोग सड़क पर उतर कर ही भाजपा और आरएसएस का मकाबला कर सकते हैं।