पटना: केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा सीवान में पत्रकार राजदेव रंजन हत्या मामले में बिहार के पूर्व मंत्री तेजप्रताप यादव को आरोपमुक्त करने के बाद जनता दल (युनाइटेड) ने पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव सहित राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के उन नेताओं से देश की जनता से माफी मांगने को कहा कि जिन्होंने सीबीआई पर पूर्वाग्रह से ग्रसित होकर काम करने का आरोप लगाया था। जद (यू) के प्रवक्ता और विधान पार्षद नीरज कुमार ने शनिवार को कहा, "देश की सबसे बड़ी जांच एजेंसी सीबीआई पर अंगुली उठाने वाले पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव सहित राजद के उन सभी नेताओं को अब राज्य और देश की जनता से माफी मांगनी चाहिए।"
उन्होंने राजद के नेताओं को नसीहत देते हुए कहा कि उन्हें यह जानना चाहिए कि देश संविधान के अनुसार चलता है जिसमें कई संवैधानिक पद और कई एजेंसियां काम करती हैं, ऐसे में ऐसी संस्थाओं पर अंगुली उठाना कभी भी लोकतंत्र के लिए सही नहीं है।
नीरज ने कहा, "सीबीआई ने सीवान में दिवंगत पत्रकार राजदेव रंजन हत्या मामले में पूर्व मंत्री तेजप्रताप को आरोप मुक्त कर दिया है। ऐसे में तेजस्वी सहित उन राजद नेताओं को अब सीबीआई को धन्यवाद देना चाहिए और देश की जनता से माफी मांगनी चाहिए, कि उन्होंने गलती से सीबीआई पर अंगुली उठाई थी।"
देश की वर्तमान शासन व्यवस्था में सीबीआई द्वारा पूर्वाग्रह से काम नहीं करने का दावा करते हुए उन्होंने कहा कि सीबीआई कानून सम्मत कार्रवाई करती है, ऐसे में राजद नेताओं को अपने स्वार्थ के लिए संवैधानिक संस्थाओं और जांच एजेंसियों की निंदा नहीं करनी चाहिए।
राजद नेताओं पर तंज कसते हुए जद (यू) नेता ने कहा कि राजद के नेताओं को अब यह भान (एहसास) हो गया होगा कि राजद प्रमुख लालू प्रसाद सही में देश के सबसे बड़े घोटाले 'चारा घोटाले' में शामिल थे और तभी उन्हें इस घोटाले के दो मामलों में सजा हुई है।
उन्होंने कहा कि लालू और उनके पुत्र तेजस्वी की नियति ही बेनामी संपत्ति अर्जित करने की रही है। यही कारण है कि उन्हें जांच एजेंसियों और अदालतों का चक्कर लगाना पड़ रहा है। उन्होंने सलाह देते हुए कहा, "धर्मनिरपेक्षता का लबादा ओढ़कर बेनामी संपत्ति बनाने का जमाना चल गया। अब समय 'करनी का फल भोगने' का आ गया है, इसलिए दूसरों पर अंगुली उठाने से पहले खुद आत्मचिंतन कीजिए।"