रजत शर्मा: आपके बारे में मैंने ये भी सुना कि आप इस बात से नाराज हैं कि आपको मोदी जी ने अपनी सरकार में मंत्री नहीं बनाया.. वाजपेयी सरकार में आप कैबिनेट मिनिस्टर थे.. इसलिए आपके जो एक्शन हैं.. आपके जो तेवर हैं इसलिए बदले रहते हैं?
शत्रुघ्न सिन्हा: देखिए रजत जी आपको मैं पहले भी कह चुका हूं.. आपकी अदालत में भी कह चुका हूं आपको.. ये सब घिसे पिटे लाइन हैं.. ये सब वेस्टेड इंट्रेस्ट है.. जो कुछ लोग बन गए.. जो कुछ पद का भार ज्यादा ही ले लिया... भर लिया अपने को पद से.. अब उनको लगता है कि इसको नहीं बनाया गया.. मंत्री बनकर मेरी पर्सनालिटी पर कोई सुर्खाब के पर नहीं लग जाएंगे.. लेकिन हां मंत्री नहीं बनाया गया.. तो ये कई बार लगता है मेरे प्रशंसकों को.. मेरे समर्थकों को.. मेरे रिश्तेदारों को.. मेरे दोस्तों को.. मेरे वोटर्स को.. मेरे सपोर्टर्स को.. कि क्या वजह है क्यों नहीं बनाया गया.. क्या कसूर है.. क्या परफॉर्मेंस ठीक नहीं था हेल्थ मिनिस्टर के नाते.. क्या शिपिंग मिनिस्ट्री में हमने बहुत अच्छा काम नहीं किया था... तो आखिर चुनकर मुझे यहां के बिहार के बैनर पोस्टर्स में.. चुनकर सिर्फ मुझे अलग रखा गया था.. नहीं रखा जाता था.. उसी तरह से कई बार महसूस होता है कि मुझे ही खासतौर पर अलग किया गया... कुछ खास रीजन से.. खास कारणों से और मैं उस कारणों पर ज्यादा रोशनी नहीं डालूंगा.. क्योंकि मैं इस बात को जानता हूं.. मैं तसल्ली देता हूं लोगों को कि प्रधानमंत्री का अपना विशेषाधिकार है.. किसको बनाएं और किसको नहीं बनाएं.. मैं उनके विजडम को चुनौती नहीं दे सकता हूं.. लेकिन साथ-साथ तसल्ली भी देता हूं कि आज नहीं तो कल बन जाएंगे..