भोपाल: आय से अधिक संपत्ति और मनी लांन्ड्रिग (धनशोधन) मामले में मध्य प्रदेश के भोपाल की विशेष अदालत ने बर्खास्त आईएएस दंपती अरविन्द जोशी और टीनू जोशी की जमानत याचिका खारिज कर दी है। इसके साथ ही विशेष अदालत ने अरविन्द की माता निर्मला जोशी एवं पिता हरिवल्लभ मोहनलाल जोशी की वृद्वावस्था एवं बीमारी को देखते हुए उन्हें जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए। निर्मला की उम्र 88 वर्ष और मोहनलाल की उम्र 92 वर्ष है।
अपर सत्र न्यायाधीश आलोक अवस्थी ने शुक्रवार को जमानत अर्जियों पर सुनवाई करते हुए उक्त आदेश जारी किये हैं। अरविंद ने शुक्रवार को पत्नी टीनू जोशी और अपने माता-पिता सहित न्यायाधीश अवस्थी की अदालत में आत्मसमर्पण किया था। प्रवर्तन निदेशालय इंदौर के संचालक की ओर से अधिवक्ता एसके मेनन ने विशेष न्यायाधीश की अदालत में 19 जुलाई को अरविन्द, टीनू जोशी,हरिवल्लभ मोहनलाल जोशी, और निर्मला जोशी के खिलाफ परिवाद दायर किया था। अदालत ने आरोपियों के खिलाफ 50-50 हजार रुपए के जमानती वारंट जारी कर उन्हें अदालत के समक्ष हाजिर होने के आदेश दिए थे।
परिवाद पत्र में कहा गया था कि आरोपी अरविन्द जोशी और उसकी पत्नी टीनू जोशी वर्ष 1979 से 2010 के बीच मप्र में आईएएस के पद पर कार्यरत थे। सेवाकाल के दौरान उनकी कुल असल कमाई 1 करोड़ 32 लाख 87 हजार 595 रुपये होना थी लेकिन उन्होंने 41 करोड़ 87 लाख, 35 हजार 821 रुपए की राशि भ्रष्टाचार के माध्यम से अर्जित की थी, जो उनकी असल कमाई से 3151.32 प्रतिशत अधिक है। अभियुक्तों ने इस काली कमाई को अवैध तरीके से सफेद करने का प्रयास किया है। 2010 में छापे के दौरान उनके निवास से तीन करोड़ तीन लाख बीस हजार रुपए की नकद राशि भी बरामद हुई थी। इस मामले में लोकायुक्त पुलिस द्वारा जोशी दंपती के खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत 9 दिसंबर 2010 को प्राथमिकी भी दर्ज की गई है।