नई दिल्ली: अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में मोहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर का मामला गरमाता जा रहा है जहां हिंदू वाहिनी ने जिन्ना की तस्वीर हटाने का अल्टीमेटम दिया है तो दूसरी तरफ यूपी के मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्या ने जिन्ना को महापुरुष बताया है। यूनियन हॉल में कई और नेताओं के साथ लगी जिन्ना की तस्वीर को हिंदू वाहिनी ने 48 घंटे में हटाने की चेतावनी दे दी है। अलीगढ़ में खुद को हिंदू वाहिनी का जिला उपाध्यक्ष बताने वाले नेता ने तो यहां तक कह दिया है कि अगर एएमयू छात्र संघ ने तस्वीर नहीं हटाई तो हिंदू वाहिनी यह तस्वीर उखाड़ फेंकेगा।
ख़ास बात ये है कि हिंदू वाहिनी यूपी के मुखिया योगी आदित्यनाथ का संगठन है लेकिन यूपी सरकार में मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य जिन्ना को महापुरुष बता रहे हैं, कह रहे हैं देश की आजादी में जिन्ना का अहम योगदान रहा है। मौर्या ने कहा कि जिन महापुरुषों का योगदान इस राष्ट्र के निर्माण में रहा है, यदि हम उनपर उंगली उठाते हैं तो घटिया बात है। देश के बंटवारे से पहले जिन्ना का योगदान भी इस देश में था।
यूनिवर्सिटी में जिन्ना की तस्वीर की ये खबर कुछ समय से मीडिया की सुर्खियां बनी हुई हैं। जब यह मामला अलीगढ़ के सांसद तक पहुंचा तो उन्होंने एएमयू के वाइस चांसलर को चिट्ठी लिखी, अब इस मामले में हिंदू वाहिनी की धमकी आई तो सियासी हलकों में खलबली मच गई। हालांकि इस विवाद पर यूनिवर्सिटी प्रशासन का कहना है जिन्ना इस यूनिवर्सिटी में 1938 में आये थे। उस वक्त छात्र संघ ने उन्हें आजीवन सदस्यता दी थी जिसकी याद के बतौर इस यूनियन हॉल में उनकी तस्वीर लगी हैं।
ज़ाहिर है कि जिन्ना की तस्वीर इस हॉल में 80 सालों से लगी है। ऐसे में अचानक अब इस विवाद के गरमाने और हवा देने को लेकर सवाल उठ रहे हैं। यही वजह है कि हिंदू वाहिनी के अल्टीमेटम को देखते हुए यूनिवर्सिटी कैंपस में छात्र गुटों में टकराव की आशंका बन रही है।