चंडीगढ़. दिल्ली की सीमाओं पर जारी किसान आंदोलन के बीच हाल ही में एनडीए छोड़ने वाले अकाली दल ने भाजपा पर बड़ा हमला किया है। अकाली दल के नेता सुखबीर सिंह बादल ने कहा, "बड़े दुख की बात है कि केंद्र सरकार किसानों के संघर्ष को बदनाम करने की कोशिश कर रही है। जो भी केंद्र सरकार के साथ सहमत नहीं है उसे सरकार देशद्रोही कहती है। मैं केंद्र को कहना चाहता हूं कि जो किसान बैठे हैं इनका किसी धर्म के साथ संबंध नहीं है, ये अन्नदाता हैं।"
पढ़ें- शरजील इमाम, उमर खालिद के पोस्टर और किसान आंदोलन? कृषि मंत्री ने उठाया सवाल
पीएम मोदी बोले- कृषि सुधारों का किसानों को मिलेगा लाभ
नए कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसानों को स्पष्ट संदेश देते हुये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को कहा कि कृषि क्षेत्र में किये गये सुधारों से उन्हें नये बाजार उपलब्ध होंगे और उनकी आय बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि नये कृषि कानूनों के जरिये कृषि क्षेत्र में बाधाओं को हटाने का काम किया गया है। इससे क्षेत्र में नई प्रौद्योगिकी आयेगी और निवेश बढ़ेगा। प्रधानमंत्री ने देश के प्रमुख उद्योग मंडल फिक्की की 93वीं सालाना आम बैठक का वीडियो कन्फ्रेंसिंग के जरिये उद्घाटन करते हुये यह बात कही।पढ़ें- किसानों ने फ्री किया करनाल का बसताड़ा और अंबाला का शंभू टोल प्लाजा
पीएम ने उद्योगपतियों से की कृषि क्षेत्र में निवेश की अपील
उन्होंने उद्योगपतियों को कृषि क्षेत्र में निवेश करने की अपील करते हुये कहा कि इस कृषि क्षेत्र में निजी क्षेत्र की ओर से जितना निवेश होना चाहिये था वहीं नहीं हुआ है। उन्होंने कहा कि विभिन्न फसल और फल- सब्जियों को उगाने वाले कसानों को आधुनिक तकनीक का जितना समर्थन मिलेगा उतनी ही उनकी आय बढ़ेगी। पीएम मोदी ने यह बात ऐसे समय कही है जब किसान संगठन तीन नये कृषि कानूनों के विरोध में दिल्ली की सीमाओं पर बैठे हैं और सरकार से इन कानूनों को वापस लिये जाने की मांग कर रहे हैं।
पढ़ें- जेपी नड्डा के काफिले पर हमले के बाद आक्रामक हुई BJP, बंगाल जाएंगे अमित शाह
'सुधारों से कृषि क्षेत्र में खड़ी दीवारों को हटाने का काम किया'
प्रधानमंत्री ने कहा कि कृषि क्षेत्र में किये गये सुधारों से इस क्षेत्र में खड़ी दीवारों को हटाने का काम किया गया है। उन्होंने कहा, ‘‘कृषि क्षेत्र में जरूरी ढांचागत सुविधायें हों, खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र हो, बेहतर भंडारण सुविधाओं की बात हो इन सब के बीच दीवारें थीं उन्हें हटाया जा रहा है। बाधाएं हटने से किसानों को अपनी उपज बेचने के लिये नये बाजार मिलेंगे, आधुनिक कोल्ड स्टोरेज उपलब्ध होंगे, निवेश बढ़ेगा और उन्हें इस सब का लाभ मिलेगा।’’