औरंगाबाद: ऑल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) अपने नेता वारिस पठान से कर्नाटक में दिये गये उनके कथित 15 करोड़ लोगों वाले विवादित बयान पर सफाई मांगेगी। पार्टी के एक नेता ने शुक्रवार को यहां यह जानकारी दी। पठान ने 16 फरवरी को उत्तरी कर्नाटक के कलबुर्गी में नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में एक रैली को संबोधित करते हुए कथित तौर पर कहा था कि ‘‘15 करोड़ मुस्लिम 100 करोड़ लोगों पर भारी पड़ सकते हैं।’’ पठान के वायरल हुए वीडियो में उन्हें कहते सुना जा सकता है, ‘‘हमें साथ चलना होगा। हमें आजादी लेनी होगी, जो चीजें मांगने से नहीं मिलतीं, वह छीनकर लेनी होती हैं, याद रखिए (हम) 15 करोड़ हैं, लेकिन 100 करोड़ पर भारी हैं।’’
एआईएमआईएम की महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष और औरंगाबाद के लोकसभा सदस्य इम्तियाज जलील ने यहां संवाददाताओं से बातचीत में कहा, ‘‘हमारी पार्टी वारिस पठान के बयान का समर्थन नहीं करती। पार्टी उनके बयान के लिए उनसे स्पष्टीकरण मांगेगी।’’ उन्होंने कहा, ‘‘अगर जरूरत पड़ी तो हम पार्टी कार्यकर्ताओं को भाषण देते समय क्या बोलना है और क्या नहीं बोलना है, इसकी सूची बनाकर देंगे।’’ जलील ने कहा, ‘‘भाजपा नेता अनुराग ठाकुर और योगी आदित्यनाथ ने भी इसी तरह के कुछ नफरत वाले बयान दिये थे लेकिन तब किसी ने उस पर सवाल खड़ा नहीं किया।’’
गुरूवार को बेंगलुरू में सीएए, एनआरसी और एनपीआर के विरोध में आयोजित सभा में एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी की मौजूदगी में एक युवती ने ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ के नारे लगाये थे। ओवैसी ने लड़की के इस कृत्य की निंदा की थी और वह मंच पर उसे बोलने से रोकते हुए भी दिखे थे। इस घटना पर जलील ने कहा, ‘‘वह आयोजन एआईएमआईएम का नहीं था। इसे जेडीएस और अन्य दलों के नेताओं ने आयोजित किया था। असदुद्दीन ओवैसी ने महिला को रोका और उसके कृत्य की निंदा भी की। लेकिन ऐसा पेश किया जा रहा है कि मंच एआईएमआईएम का था।’’
इस बीच भाजपा और राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना ने पठान के खिलाफ औरंगाबाद में प्रदर्शन किये तथा उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की। भाजपा ने गुलमंडी इलाके में प्रदर्शन किया और पठान का पुतला फूंका। भाजपा विधायक अतुल साल्वे ने कहा, ‘‘वारिस पठान ने 100 करोड़ जनता की भावनाओं को आहत किया है। उन्होंने देश के लोगों को बांटने का प्रयास किया है। राज्य सरकार को उनके खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए तथा उन्हें मुंबई से बाहर भेज देना चाहिए।’’ मनसे ने भी विरोध प्रदर्शन किया। पार्टी नेता प्रकाश महाजन ने कहा, ‘‘वारिस पठान की भाषा घृणास्पद है। उन पर राज्य में सार्वजनिक तौर पर भाषण देने पर रोक लगा देनी चाहिए और गिरफ्तार किया जाना चाहिए।