देशभर में कल मुहर्रम की 10वीं तारीख के दिन जमकर हिंसा हुई। दिल्ली से लेकर बिहार तक उपद्रवियों ने जमकर उत्पात मचाया। मुहर्रम के मातम जुलूस में उपद्रवियों ने सड़कों पर तांडव मचाया है। जहां भी उपद्रवियों कौ मौका मिला, सड़कों को ईंट पत्थरों से पाट दिया गया। पुलिस और आम लोगों पर पथराव किया गया। पत्थरबाजी में किसी का सिर फूटा तो किसी का हाथ टूट गया। दर्जनों गाड़ियों को चकनाचूर कर दिया गया। मुहर्रम जुलूस के दौरान हुई हिंसा की तस्वीरें दिल्ली, वाराणसी, पीलीभीत, कैमूर और कई जगहों से आई हैं, जहां उपद्रवियों ने जुलूस की आड़ में जमकर हिंसा की।
दिल्ली में जुलूस के दौरान हिंसा
दिल्ली में ताजिया जुलूस के दौरान जमकर हंगामा हुआ। नांगलोई इलाके में जुलूस के दौरान कुछ उपद्रवी सूरजमल स्टेडियम में जबरन घुसने की कोशिश कर रहे थे। उपद्रवी स्टेडियम के अंदर ताजिया दफनाना चाहते थे, लेकिन पुलिस ने ऐसा करने से रोक दिया। जिसके बाद काफी देर तक नारेबाजी होती रही। पुलिस उपद्रवियों को शांत कराने की कोशिश करती रही, लेकिन उपद्रवियों ने पुलिस पर पथराव कर दिया। इसके बाद हालात और खराब हो गए। मजबूरन पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। इस दौरान रोड पर काफी भीड़ थी। उपद्रवियों ने गाड़ियों और बसों को निशाना बनाकर पत्थरबाजी की। बसों के अंदर लोग बैठे हुए थे जिन पर लाठी डंडों से हमला किया गया। गाड़ियों के शीशे तोड़ दिए गए।
वाराणसी में शिया और सुन्नी समुदाय भिड़े
वहीं वाराणसी में भी ताजिए को लेकर जमकर बवाल हुआ। जैतपुरा थाना इलाके के दोशीपुरा में ताजिया जुलूस को लेकर शिया और सुन्नी समुदाय के लोग आपस में भिड़ गए। पहले दोनों तरफ से जमकर नारेबाजी की गई। फिर देखते ही देखते पथराव शुरू हो गया। इस दौरान जमकर ईंट पत्थर चले। दोनों पक्षों के पथराव में दर्जनों गाड़ियां चकनाचूर हो गईं। विवाद उस वक्त शुरू हुआ जब तय रूट पर शिया समुदाय की ओर से ताजिया निकाला जा रहा था। इस रास्ते पर केवल शिया समुदाय को ही ताजिया निकालने की इजाजत थी। लेकिन बिना इजाजत ही सुन्नी समुदाय की ओर से उसी रास्ते पर ताजिया निकाला गया। इसका शिया समुदाय के लोग विरोध करने लगे। इसके बाद शिया और सुन्नी वर्ग के लोग आमने-सामने आ गए और जमकर पथराव किया। सूचना मिलते ही फौरन पुलिस और RAF की टीम मौके पर पहुंच गई। हंगामा कर रहे उपद्रवियों को वहां से खदेड़ा। इस पत्थरबाजी में करीब 50 लोग घायल हुए हैं। उपद्रवियों एक दर्जन से ज्यादा गाड़ियां तोड़ दीं।
कैमूर में मंदिरों पर की पत्थरबाजी
बिहार के कैमूर में तजिया जुलूस के दौरान भी दिल्ली और वाराणसी जैसा हाल रहा। यहां भी दो पक्ष जुलूस को लेकर एक दूसरे को मारने पर आमादा दिखे। जुलूस जंग के मैदान जैसा हो गया। पहले जमकर नारेबाजी की गई, उसके बाद लाठी डंडों से हमले शुरु हो गए। दोनों तरफ से लाठियां चलीं, पत्थर चले। इस दौरान उपद्रवियों ने मंदिरों को भी टारगेट किया। मंदिरों पर पत्थरबाजी करके माहौल बिगाड़ने की कोशिश की। सूचना पर पहुंची पुलिस ने तुरंत हालात कंट्रोल में लेने की कोशिश की, लेकिन पत्थरबाजों ने पुलिस पर भी पथराव कर दिया जिसके बाद पुलिस ने लाठी चार्ज करके उपद्रवियों को खदेड़कर हालात काबू में किए।
पीलीभीत में ताजिएदार और कांवड़िये भिड़े
इसके अलावा पीलीभीत में बरेली हाईवे के खमरिया पुल के पास ताजिएदार और कांवड़िये आमने सामने आ गए। पहले दोनों तरफ से जमकर नारेबाजी होती रही। पुलिस लगातार दोनों पक्षों को समझाने की कोशिश करती रही, लेकिन विवाद इतना बढ़ गया कि देखते ही देखते दोनों पक्षों में पत्थरबाजी शुरू हो गई। पत्थरबाजी में सीओ सदर भी घायल हो गए। घटना के बाद मौके पर भारी पुलिस बल और पीएसी को तैनात कर दी गई, जिसके बाद ताजिएदारों ने हाईवे जामकर दिया। मौके पर पहुंचे डीएम ने जाम खुलवाने की कोशिश की तो उपद्रवियों ने फिर पथराव कर दिया। इस बवाल में कई सरकारी गाड़ियां टूट गईं। हाईवे पर कई घंटे तक ये हंगामा चलता रहा, लेकिन बाद में पुलिस ने हालात पर काबू पा लिया।
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