Highlights
- पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया की हिट लिस्ट में केरल से पांच RSS नेता
- सुरक्षा में अब पैरामिलिट्री फोर्स के कमांडोकी तैनाती की जाएगी।
- नेताओं की सुरक्षा में होंगे 8 सुरक्षाकर्मी
RSS News: केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी यानी एनआईए और आईबी की रिपोर्ट के आधार पर केरल में आरएसएस के 5 नेताओं को ‘वाय‘ श्रेणी की सुरक्षा प्रदान की हैै। दरअसल, केंद्रीय खुफिया एजेंसियों को ऐसे इनपुट मिले हैं, जिनमें प्रतिबंधित कट्टरपंथी संगठन -पीएफआई यानी पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया की हिट लिस्ट में केरल से पांच नेता हैं। संभावित खतरे को भांपते हुए ही गृह मंत्रालय ने इन नेताओं को ‘वाई‘ श्रेणी की सुरक्षा प्रदान देने की घोषणा की है। सूत्रों के अनुसार, एनआईए को छापेमारी के दौरान केरल पीएफआई सदस्य मोहम्मद बशीर के घर से एक सूची मिली, जिसमें कथित तौर पर पीएफआई के रडार पर आरएसएस के पांच नेताओं के नाम थे।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार केंद्रीय गृह मंत्रालय ने एनआईए और आईबी की रिपोर्ट के आधार पर केरल में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के 5 नेताओं को ‘वाय‘ कैटेगरी की सुरक्षा दी है।उनकी सुरक्षा में अब पैरामिलिट्री फोर्स के कमांडोकी तैनाती की जाएगी। दरअसल, केंद्रीय जांच एजेंसी ने ऐसी रिपोर्ट केंद्रीय गृह मंत्रालय को दी थी। 22 सितंबर को पीएफआई के सदस्य मोहम्मद बशीर पर रेड के दौरान एनआईए को आरएसएस नेताओं की लिस्ट मिली थी। इसमें आरएसएस के 5 नेताओं को जान से मारने का उल्लेख था। इसी के चलते केंद्रीय गृह मंत्रालय ने पांचों नेताओं को वाय कैटेगरी की सुरक्षा दी है।
नेताओं की सुरक्षा में होंगे 8 सुरक्षाकर्मी
सिक्योरिटी की येलो बुक के अनुसार गृहमंत्रालय की वाय केटेगरी की सुरक्षा में नियमानुसार 8 सुरक्षाकर्मियों की तैनाती की जाती है। इसमें जिस वीआईपी को सुरक्षा प्रदान की जाती है, उसमें 5 आर्म्ड स्टेटिक गार्ड घर पर तैनात किए जाते हैं। साथ ही तीन शिफ्ट में तीन पीएसओ सुरक्षा प्रदान करते हैं।
मुस्लिम कट्टरपंथ को बढ़ावा देने पर लगाया गया पीएफआई पर बैन
भारत ने पीएफआई को गैरकानूनी गतिविधियां ;रोकथामद्ध अधिनियम ‘यूएपीए‘ 1967 के तहत प्रतिबंधित किया है। दरअसल, राष्ट्रीय जांच एजेंसी ‘एनआई‘ की जांच में सामने आया था कि पीएफआई के लिए किस तरह तुर्की और पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ‘आईएसआई‘ से पैसा आ रहा है। एनआईए ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि आईएसआई की मदद से पीएफआई को काफी पैसा मिल रहा है, जिसका इस्तेमाल आतंक की फंडिंग के लिए किया जा रहा है। एनआईए ने ये भी कहा कि पाकिस्तान खाड़ी देशों के मजदूरों के बैंक अकाउंट के जरिए पीएफआई को फंडिंग कर रहा है। यही कारण रहा कि पीएफआई पर प्रतिबंध लगा दिया गया। पीएफआई का नाम देश में दंगों को कराने, मुस्लिम कट्टरपंथ को बढ़ाने जैसे कामों में सामने आता रहा है।