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अयोध्या में बाजे बधाई, 'रामलला' का कैसे और कब हुआ सूर्य तिलक-10 प्वाइंट्स में जानें सबकुछ

अयोध्या के राम मंदिर में रामलला की प्रतिमा के मस्तक पर सूर्य तिलक किया गया, यानी सूर्य की किरणें सीधे उनके ललाट पर दिखीं। ये संभव हो पाया विज्ञान की मदद से। जानिए 10 प्वाइंट्स में सबकुछ-

Edited By: Kajal Kumari @lallkajal
Updated on: April 17, 2024 14:10 IST
ramlalla surya tilak- India TV Hindi
Image Source : SOCIAL MEDIA रामलला का सूर्य तिलक

रामनवमी समारोह के अवसर पर बुधवार, 17 अप्रैल की सुबह से ही अयोध्या के राम मंदिर में रामलला की एक झलक पाने के लिए हजारों भक्तों की भीड़ उमड़ रही है। विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के प्रवक्ता शरद शर्मा ने कहा कि अयोध्या में राम मंदिर में राम नवमी के उत्सव का 500 वर्षों का इंतजार अब खत्म हुआ और आज रामलला का सूर्य तिलक हुआ है, जिससे पूरा देश बहुत खुश है। प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने भी राम नवमी के अवसर पर लोगों को शुभकामनाएं दीं हैं और कहा कि आज अयोध्या अतुलनीय आनंद में है क्योंकि राम मंदिर के अभिषेक के बाद यह पहली बार है कि वहां उत्सव मनाया जा रहा है।

  1. राम लला का बहुप्रतीक्षित 'सूर्य अभिषेक' दोपहर 12:15 बजे के आसपास शुरू हुआ और चार मिनट तक चला। इस अवधि के दौरान, सूर्य की किरणें राम लला के माथे पर 75 मिमी का 'तिलक' बनाती रहीं। 
  2. रामनवमी के अवसर पर आज सुबह 3:30 बजे से ही राम मंदिर में दर्शन शुरू हुए।
  3. राम मंदिर में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा की गई थी जिसके बाद नए मंदिर में राम मूर्ति की प्रतिष्ठा के बाद यह पहली राम नवमी का आयोजन है जो बेहद भव्य तरीके से मनाया जा रहा है।
  4. श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा ने कहा कि सूर्य तिलक के दौरान, भक्तों को राम मंदिर के अंदर जाने की अनुमति दी गई। मंदिर ट्रस्ट द्वारा लगभग 100 और सरकार द्वारा 50 एलईडी स्क्रीन लगाई गई हैं, जो रामनवमी समारोह को दिखा रही हैं, जिससे लोग जहां मौजूद हैं वहीं से समारोह देख रहे हैं।
  5. राम लला को 56 प्रकार के भोग प्रसाद भी चढ़ाए गए हैं।
  6. सूर्य तिलक के पीछे का विज्ञान: श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने कहा कि केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान (सीबीआरआई), रूड़की के वैज्ञानिकों ने सूर्य की गति के आधार पर सूर्य तिलक के समय की गणना की है। ट्रस्ट ने कहा, "राम लला का 'सूर्य अभिषेक' उच्च गुणवत्ता वाले दर्पण और लेंस के साथ एक ऑप्टोमैकेनिकल प्रणाली का उपयोग करके किया गया था।"
  7. 'सूर्य अभिषेक' की सफलता सुनिश्चित करने के लिए सीबीआरआई के विशेषज्ञ इस समय अयोध्या में डेरा डाले हुए हैं।
  8. पीएम मोदी का सुझाव: 23 अक्टूबर, 2022 को दीपोत्सव समारोह के लिए अपनी अयोध्या यात्रा के दौरान, पीएम नरेंद्र मोदी ने ट्रस्ट के सदस्यों को सुझाव दिया कि राम मंदिर के गर्भगृह का निर्माण इस तरह किया जाना चाहिए कि सूर्य की किरणें सीधे राम पर पड़ें। राम नवमी पर रामलला की मूर्ति वैसी ही दिखी जैसी कि ओडिशा के कोणार्क सूर्य मंदिर में दिखाई देती है।
  9. राम मंदिर में भक्तों को धूप से बचाने के लिए जन्मभूमि पथ पर स्थायी छत्र लगाया गया है, जबकि भक्ति पथ पर भी अस्थायी छत्र लगाया गया है। इसके अलावा, अयोध्या प्रशासन ने मेला क्षेत्र में टेढ़ी बाजार से नया घाट तक 29 स्थानों पर सहायता बूथ स्थापित किए हैं।
  10. राम मंदिर में दर्शन का समय की बात करें तो राम मंदिर ट्रस्ट ने रामलला के दर्शन की अवधि भी बढ़ाकर 19 घंटे कर दी है, जो मंगला आरती से शुरू होकर रात 11 बजे तक जारी रहेगी। चार बार भोग लगाने के दौरान सिर्फ पांच मिनट के लिए पर्दा बंद रहेगा।

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