Tuesday, November 05, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. भारत
  3. राष्ट्रीय
  4. Rajat Sharma’s Blog: 'आप की अदालत' में गुलाम नबी आज़ाद

Rajat Sharma’s Blog: 'आप की अदालत' में गुलाम नबी आज़ाद

गुलाम नबी आज़ाद ने ‘आप की अदालत’ में कई खुलासे किए। आज़ाद ने इस बात पर अफसोस जताया कि कैसे राहुल गांधी ने 'मोदी को गाली' देने की रणनीति अपनाकर 9 साल बर्बाद कर दिए।

Written By: Rajat Sharma
Published on: April 07, 2023 17:15 IST
Rajat Sharma Blog, Ghulam Nabi Azad, Ghulam Nabi Azad Aap Ki Adalat, Narendra Modi- India TV Hindi
Image Source : INDIA TV इंडिया टीवी के चेयरमैन एवं एडिटर-इन-चीफ रजत शर्मा।

डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी के प्रमुख गुलाम नबी आज़ाद, जिन्होंने अपने जीवन के 50 साल कांग्रेस में बिताए, इस हफ्ते 'आप की अदालत' में मेरे मेहमान थे। यह शो शनिवार को रात 10 बजे इंडिया टीवी पर प्रसारित किया जाएगा। शो में आज़ाद ने इस बात पर अफसोस जताया कि कैसे राहुल गांधी ने 'मोदी को गाली' देने की रणनीति अपनाकर 9 साल बर्बाद कर दिए। आज़ाद ने साफ-साफ लफ्ज़ों में कहा कि अगर राहुल गांधी ने अपनी रणनीति नहीं बदली, तो न वह कभी बड़े नेता बन पाएंगे और न कभी कांग्रेस सत्ता में वापसी कर पाएगी। उन्होंने कहा, ‘गाली देने से कोई नेता नहीं बन जाता। राहुल गांधी 9 साल से दिन रात सिर्फ प्रधानमंत्री मोदी को गाली देने में लगे हुए हैं। इससे कांग्रेस का भारी नुकसान हुआ।‘ आज़ाद देश के पूर्व प्रधानमंत्रियों इंदिरा गांधी और राजीव गांधी के करीबी रहे। उन्होंने करीब 25  साल तक सोनिया गांधी के साथ काम किया। ‘आप की अदालत’ में उन्होंने इंदिरा, राजीव और सोनिया गांधी के साथ अपने रिश्तों के बारे में खुलकर बात की। आज़ाद ने शो के दौरान एक बड़ी बात कही। उन्होंने कहा, ‘अगर इंदिरा जी और राजीव जी दिन में 20-20 घंटे काम करते थे, तो क्या राहुल 24 मिनट भी काम नहीं कर सकते? इंदिरा, राजीव ने प्रधानमंत्री बनने के लिए कड़ी मेहनत की, लेकिन राहुल गांधी 24 मिनट भी काम नहीं करना चाहते। इस रफ्तार से काम करके राहुल नरेंद्र मोदी से नहीं लड़ सकते हैं क्योंकि वह 24X7 काम करते हैं।’ आज़ाद ने शो में कई खुलासे किए। उन्होंने कहा, ‘अगर राहुल गांधी ‘मोदी चोर हैं’ का राग अलापते रहे तो किसी का फायदा नहीं होगा।’ जब मैंने आज़ाद को याद दिलाया कि कांग्रेस में दिग्विजय सिंह जैसे और भी अनुभवी नेता हैं जो उनकी बातों से सहमत नहीं हैं, उन्होंने करारा जवाब देते हुए कहा, ‘अंदर से तो दिग्विजय सिंह भी मानते हैं कि राहुल कांग्रेस को डुबाने में लगे हैं पर उनमें यह कहने की हिम्मत नहीं है।’ दर्शकों के मन में उठ रहे तमाम सवालों के स्पष्ट जवाब 'आप की अदालत' शो में मिलेंगे।

 
2024 के लोकसभा चुनाव के लिए मोदी की सलाह
गुरुवार को बीजेपी के स्थापना दिवस समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पार्टी कार्यकर्ताओं को 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारी के लिए अपना 'मंत्र' दिया । संयोग से बीजेपी का स्थापना दिवस हनुमान जयंती के दिन ही पड़ गया, ऐसे में मोदी ने कार्यकर्ताओं से कहा कि हनुमान जी का 'Can Do' एटिट्यूड पार्टी के लिए प्रेरणा का स्रोत होना चाहिए। मोदी ने कहा कि जैसे हनुमान ने कठोर होकर राक्षसों का संहार किया, उसी तरह बीजेपी को भ्रष्टाचार और परिवारवाद जैसे राक्षसों के खिलाफ एक्शन लेने में नरमी नहीं बरतनी चाहिए। मोदी ने कहा, लोगों ने अभी से ये कहना शुरू कर दिया है कि 2024 में बीजेपी को कोई नहीं हरा सकता, लेकिन पार्टी के कार्यकर्ताओं को अति-आत्मविश्वास के कारण आत्मसंतुष्ट नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘हमरा लक्ष्य सिर्फ चुनाव जीतना नहीं बल्कि लोगों का दिल जीतना भी होना चाहिए।’ कांग्रेस का नाम लिए बिना मोदी ने कहा कि अंग्रेज किस तरह जनता को ‘गुलाम रखने की मानसिकता’ कुछ लोगों के जहन में बोकर के चले गए थे, और कुछ परिवारों ने बादशाही मानसिकता थोपने की कोशिश की। पीएम ने कहा, ‘2014 के बाद युग बदला, बादशाही मानसिकता का युग समाप्त हो गया। जनादेश न मिलने पर वे इतने निराश हो चुके हैं कि अब खुलकर 'मोदी तेरी कब्र खुदेगी' कहने लगे हैं।’ मोदी ने 2024 के चुनावों का एजेंडा सेट कर दिया है। वह भ्रष्टाचार और परिवारवाद को मुख्य मुद्दा बनाकर विपक्षी पार्टियों को घेरने जा रहे हैं। मोदी इस बात को समझते हैं कि विरोधी दलों के नेता उन्हें गाली देने में व्यस्त हैं, लेकिन इससे उनका कोई फायदा नहीं होगा। उन्होंने बीजेपी के कार्यकर्ताओं से घर-घर जाने और सोशल मीडिया के जरिए वोटर्स तक पहुंचने के लिए टेक्नॉलजी से जुड़ने के लिए कहा। बीजेपी के कार्यकर्ताओं को दी गई मोदी की सलाह पहले से ही बेकार के मुद्दों में उलझे विपक्ष के लिए भी अहम है।
 
लोकतंत्र के लिए दुखद दिन
संसद का बजट सत्र गुरुवार को हंगामे के साथ खत्म हो गया। दोनों सदनों में सामान्य रूप से एक दिन के लिए भी काम नहीं हो पाया। विपक्षी सांसदों ने संसद से विजय चौक तक 'तिरंगा मार्च' निकाला। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने आरोप लगाया कि सत्ताधारी दल ने कार्यवाही को रोक कर लोकतंत्र की हत्या की है। संसद के बजट सत्र में जो हुआ वह लोकतंत्र के लिए अच्छा नहीं है। पहले विपक्ष ने अडानी को मुद्दा बनाया और बिना पक्के सबूतों के मोदी पर इल्जाम लगाए। बीजेपी ने राहुल गांधी को घेरा और विदेशों में भारत का अपमान करने जैसी बात के लिए माफी मांगने को कहा। पहले दिन से ही साफ समझ में आ रहा था कि दोनों एक दूसरे की बात को दबाने के लिए, एक दूसरे को नीचा दिखाने के लिए अपना-अपना एजेंडा चला रहे हैं। इसका नतीजा यह हुआ कि बजट सत्र का ज्यादातर वक्त बेकार चला गया। इससे नुकसान किसका हुआ? जनता का। बर्बादी किसकी हुई? जनता के पैसे की। यह सही है कि सदन चलाने में ज्यादा जिम्मेदारी सरकार की होती है, इसलिए उसे बीच का रास्ता निकालना चाहिए था, लेकिन सरकार ऐसा करने में नाकाम रही। इस मामले में विपक्ष ने भी हद कर दी। 13 विपक्षी दलों के सदस्यों ने पूरे बजट सत्र में हंगामा किया और सत्र खत्म होने के बाद होने वाली स्पीकर की पारम्परिक चाय पार्टी में भी नहीं गए। (रजत शर्मा)

देखें: ‘आज की बात, रजत शर्मा के साथ’ 06 अप्रैल, 2023 का पूरा एपिसोड

Latest India News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। National News in Hindi के लिए क्लिक करें भारत सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement