नई दिल्ली: पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल का निधन हो गया है। मोहाली के अस्पताल 95 साल की उम्र में बादल ने आखिरी सांस ली। प्रकाश सिंह बादल देश के सबसे अनुभवी और बुजुर्ग नेता थे। उनका सम्मान सभी दलों के नेता करते थे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी तो सार्वजनिक मंच पर प्रकाश सिंह बादल के पैर छूते थे। प्रकाश सिंह बादल सिर्फ अकाली दल के या फिर सिर्फ पंजाब के नेता नहीं थे। वो देश की राजनीति के वटवृक्ष थे। आजादी से लेकर अब तक 76 साल की देश का राजनीति के गवाह रहे हैं। आज उनके निधन पर सभी राजनीतिक दलों के नेताओं ने शोक जताया है।
बादल ने की थी पीएम मोदी की तारीफ
बता दें कि साल 2019 में जब पीएम मोदी ने वाराणसी लोकसभा क्षेत्र के लिए अपना नामांकन पत्र दाखिल करने के बाद शिरोमणि अकाली दल (SAD) के संरक्षक प्रकाश सिंह बादल के पैर छुए थे, तो बहुत चर्चा हुई थी। इस दौरान बादल ने पीएम मोदी की तारीफ करते हुए कहा था, ''हिंदुस्तान के लोगों को यह सोचना है कि हमारा पीएम कौन हो? मोदी साहब के मुकाबले में कौन हो सकता है? ये जो गांधी है, ये जो जैसे हाथी और घोड़े का फर्क होता है, इतना फर्क है।''
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1947 में सिर्फ 29 साल की उम्र में बने थे सरपंच
प्रकाश सिंह बादल का राजनीतिक करियर देश की आजादी के साथ ही शुरू हो गया था। प्रकाश सिंह बादल 1947 में सिर्फ 29 साल की उम्र में सरपंच चुने गए थे। उसके बाद ब्लॉक प्रमुख बने और पहली बार शिरोमणि अकाली दल के टिकट पर 1957 में पंजाब विधानसभा के मेंबर चुने गए। प्रकाश सिंह बादल शिरोणि अकाली दल के पहले विधायक थे। इसके बाद उन्होंने राजनीति में कभी पीछे मुडकर नहीं देखा। वह कुल 10 बार विधायक चुने गए। पहली बार 53 साल पहले 1970 में पंजाब के चीफ मिनिस्टर बने थे। इसके बाद 1971 फिर 1997, 2002, और फिर 2007 में वो पंजाब के मुख्यमंत्री बने।
प्रकाश सिंह बादल 2007 से 2017 तक मुख्यमंत्री रहे। हालांकि पंजाब विधानसभा के पिछले चुनाव में प्रकाश सिंह बादल को हार का सामना करना पड़ा था। प्रकाश सिंह बादल की रहनुमाई में शिरोमणि अकाली दल 40 साल तक बीजेपी के साथ गठबंधन में रही।