Highlights
- भक्ति शाखा के संत श्री रामानुजाचार्य की स्मृति में स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी का निर्माण
- पीएम मोदी पाटनचेरु स्थित अंतर्राष्ट्रीय फसल अनुसंधान संस्थान का भी जाएंगे
हैदराबाद: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11वीं सदी के भक्ति शाखा के संत श्री रामानुजाचार्य की स्मृति में शनिवार को हैदराबाद में ''स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी' प्रतिमा का अनावरण कर इसे राष्ट्र को समर्पित करेंगे। इसके अलावा प्रधानमंत्री राज्य के पाटनचेरु में अंतर्राष्ट्रीय फसल अनुसंधान संस्थान के अर्ध-शुष्क उष्णकटिबंधीय (आईसीआरआईएसएटी) परिसर का दौरा कर संस्थान की 50वीं वर्षगांठ समारोह का शुभारंभ भी करेंगे। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि तेलंगाना के मुख्य सचिव सोमेश कुमार और पुलिस महानिदेशक एम महेंद्र रेड्डी ने प्रधानमंत्री के दौरे की तैयारियों का शुक्रवार को जायजा लिया।
216 फुट ऊंची है ‘स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी'
प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) की ओर से जारी एक बयान के मुताबिक मोदी 216 फुट ऊंची ‘स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी’ प्रतिमा का अनावरण करेंगे। यह प्रतिमा 11वीं सदी के भक्ति शाखा के संत श्री रामानुजाचार्य की याद में बनाई गई है। यह प्रतिमा 'पंचधातु' से बनी है जिसमें सोना, चांदी, तांबा, पीतल और जस्ता का एक संयोजन है और यह दुनिया में बैठी अवस्था में सबसे ऊंची धातु की प्रतिमाओं में से एक है।
संत रामानुजाचार्य की जीवन यात्रा का भी प्रदर्शन
पीएमओ के मुताबिक यह 54-फीट ऊंचे आधार भवन पर स्थापित है, जिसका नाम 'भद्र वेदी' है। इसमें वैदिक डिजिटल पुस्तकालय और अनुसंधान केंद्र, प्राचीन भारतीय ग्रंथ, एक थिएटर, एक शैक्षिक दीर्घा हैं, जो संत रामानुजाचार्य के कई कार्यों का विवरण प्रस्तुत करते हैं। इस प्रतिमा की परिकल्पना श्री रामानुजाचार्य आश्रम के चिन्ना जीयार स्वामी ने की है। पीएमओ ने कहा कि कार्यक्रम के दौरान संत रामानुजाचार्य की जीवन यात्रा और शिक्षा पर थ्रीडी प्रेजेंटेशन मैपिंग का भी प्रदर्शन किया जाएगा।
रामानुजाचार्य की 1000 वीं जयंती
प्रधानमंत्री 108 दिव्य देशम (सजावटी रूप से नक्काशीदार मंदिर) के समान मनोरंजनों का भी दौरा करेंगे जो ‘‘स्टैच्यू ऑफ इक्वलिटी’’ के चारों ओर बने हुए हैं। श्री रामानुजाचार्य ने राष्ट्रीयता, लिंग, नस्ल, जाति या पंथ की परवाह किए बिना हर इंसान की भावना के साथ लोगों के उत्थान के लिए अथक प्रयास किया था। ‘‘स्टैच्यू ऑफ इक्वैलिटी’’ का उद्घाटन, रामानुजाचार्य की वर्तमान में जारी 1000 वीं जयंती समारोह यानी 12 दिवसीय श्री रामानुज सहस्रब्दी समारोह का एक भाग है।
आईसीआरआईएसएटी के समारोह का उद्घाटन भी करेंगे पीएम
इससे पहले, प्रधानमंत्री अपनी यात्रा के दौरान आईसीआरआईएसएटी की 50वीं वर्षगांठ समारोह का शुभारम्भ भी करेंगे। वह पौधा संरक्षण पर आईसीआरआईएसएटी के जलवायु परिवर्तन अनुसंधान केंद्र और आईसीआरआईएसएटी की रैपिड जनरेशन एडवांसमेंट केंद्र का भी उद्घाटन करेंगे। प्रधानमंत्री आईसीआरआईएसएटी के विशेष रूप से डिजाइन किए गए प्रतीक चिन्ह का भी अनावरण करेंगे और इस अवसर पर एक स्मारक डाक टिकट भी जारी करेंगे। आईसीआरआईएसएटी एक अंतर्राष्ट्रीय संगठन है जो एशिया और उप-सहारा अफ्रीका में विकास के लिए कृषि के क्षेत्र में अनुसंधान करता है।
इनपुट-भाषा