कश्मीर में लोगों को कड़ाके की ठंड से थोड़ी राहत मिली, हालांकि अधिकतर स्थानों पर न्यूनतम तापमान जमाव बिंदु के पास रहा। अधिकारियों ने बताया कि श्रीनगर में न्यूनतम तापमान 2.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जहां बुधवार और बृहस्पतिवार की दरमियानी रात न्यूनतम तापमान 0.3 डिग्री सेल्सियस था। गुलमर्ग में न्यूनतम तापमान शून्य से 5.5 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया, उससे एक दिन पहले रात को यहां तापमान शून्य से 3.5 डिग्री सेल्सियस नीचे था।
पहलगाम में न्यूनतम तापमान शून्य से 0.4 डिग्री सेल्सियस नीचे रहा, जहां रविवार रात तापमान शून्य से 0.8 डिग्री सेल्सियस नीचे था। उन्होंने बताया कि काजीगुंड में न्यूनतम तापमान 0.4 डिग्री सेल्सियस रहा। वहीं, दक्षिण कश्मीर के कोकेरनाग में तापमान शून्य से नीचे 0.2 डिग्री सेल्सियस और उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा में शून्य से 0.8 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया। मौसम विज्ञान विभाग ने आठ जनवरी तक मध्यम से भारी बर्फबारी या बारिश का पूर्वानुमान लगाया है।
इस दौरान कुछ स्थानों पर भारी हिमपात की भी संभावना है। कश्मीर में 40 दिन का 'चिल्लई कलां' का दौर 21 दिसंबर से शुरू हो गया। इस दौरान क्षेत्र में कड़ाके की ठंड पड़ती है और तापमान में भी गिरावट दर्ज की जाती है, जिससे यहां की प्रसिद्ध डल झील के साथ-साथ घाटी के कई हिस्सों में पानी की आपूर्ति लाइनों सहित जलाशय जम जाते हैं। इस दौरान अधिकतर इलाकों में बर्फबारी की संभावना भी सबसे अधिक रहती है, खासकर ऊंचाई वाले इलाकों में, भारी हिमपात होता है। ‘चिल्लई कलां’ के 31 जनवरी को खत्म होने के बाद, 20 दिन का ‘चिल्लई-खुर्द’ और फिर 10 दिन का ‘चिल्लई बच्चा’ का दौर शुरू होता है।