ओडिशा के बालासोर में शुक्रवार की शाम को हुई भयानक रेल दुर्घटना में अबतक 238 लोगों की मौत हो गई और 900 से अधिक लोग घायल हो गए हैं। दुर्घटना तब हुई जब शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस पटरी से उतर गई और लूप ट्रैक पर खड़ी मालगाड़ी से टकरा गई, पटरी से उतरे डिब्बों ने आने वाली बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस को टक्कर मार दी। इस हादसे के बाद जो खौफनाक मंजर दिख रहा थता, उसे घायल यात्रियों ने बयां किया।
हादसे के बारे में बताते हुए कोरोमंडल एक्सप्रेस का एक यात्री ने बताया कि हम S5 बोगी में थे और जिस समय हादसा हुआ उस उस समय मैं सोया हुआ था... हमने देखा कि किसी का सर, हाथ, पैर नहीं था... हमारी सीट के नीचे एक 2 साल का बच्चा था जो पूरी तरह से सुरक्षित है। बाद में हमने उसके परिवारिक जन को बचाया।
वहीं एक अन्य यात्री ने कहा कि "हावड़ा से चेन्नई जाने वाली कोरोमंडल एक्सप्रेस में एक यात्री के रूप में मैं बहुत शुक्रगुजार हूं कि मैं बाल-बाल बच गया। यह संभवत: ट्रेन दुर्घटना से जुड़ी सबसे बड़ी घटना है।"
बता दें कि बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस के तीन जनरल कोच पूरी तरह से क्षतिग्रस्त और पटरी से उतर गए, अनुभव दास नाम के ट्विटर यूजर ने कहा, कोरोमंडल एक्सप्रेस के जनरल, स्लीपर, एसी 3 टियर और एसी 2 टियर सहित लगभग 13 कोच "पूरी तरह से क्षतिग्रस्त" हैं। उन्होंने व्यक्तिगत रूप से 200-250 से अधिक मौतों को देखने का दावा किया।
उन्होंने कहा, "परिवार कुचल गए, अंगहीन शरीर और रेल की पटरियों पर रक्तपात। यह एक ऐसा दृश्य था जिसे मैं कभी नहीं भूलूंगा। भगवान परिवारों की मदद करें। मेरी संवेदनाएं उनके साथ हैं।"
ओडिशा के मुख्य सचिव पीके जेना ने कहा कि मौत की संख्या 238 है, जबकि बालासोर जिले में हुई दुर्घटना में लगभग 900 लोग घायल हो गए, जो कोलकाता से लगभग 250 किमी दक्षिण और भुवनेश्वर से 170 किमी उत्तर में शाम लगभग 7 बजे हुई थी। बचाव कार्य जारी है और आसपास के जिलों के सभी अस्पतालों को अलर्ट पर रखा गया है। ओडिशा के मुख्य सचिव प्रदीप ने बताया कि एनडीआरएफ की तीन इकाइयां, ओडिशा आपदा रैपिड एक्शन फोर्स की 4 इकाइयां, 15 से अधिक अग्निशमन दल, 30 डॉक्टर, 200 पुलिस कर्मी और 60 एंबुलेंस को घटनास्थल पर भेजा गया है।