Sunday, December 22, 2024
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अब बांग्लादेश की सीमा से भारत में नहीं घुस पाएंगे आतंकी, सीमा पर उठाए जाएंगे ये कदम

India-Bangladesh Relationship: अब बांग्लादेश की सीमा से भारत में आतंकियों के लिए घुसना नामुमकिन होगा। सीमा पार से होने वाली तस्करी पर भी शिकंजा कसेगा। इसके लिए दोनों देशों के बीच हुए समझौते के तहत कई नए कदम उठाए जाएंगे।

Edited By: Dharmendra Kumar Mishra @dharmendramedia
Published : Dec 06, 2022 23:14 IST, Updated : Dec 06, 2022 23:14 IST
भारत-बांग्लादेश बॉर्डर (प्रतीकात्मक फोटो)
Image Source : PTI भारत-बांग्लादेश बॉर्डर (प्रतीकात्मक फोटो)

India-Bangladesh Relationship: अब बांग्लादेश की सीमा से भारत में आतंकियों के लिए घुसना नामुमकिन होगा। सीमा पार से होने वाली तस्करी पर भी शिकंजा कसेगा। इसके लिए दोनों देशों के बीच हुए समझौते के तहत कई नए कदम उठाए जाएंगे। भारत और बांग्लादेश के बीच यहां सुरक्षा व सीमा प्रबंधन पर संयुक्त कार्यकारी समूह (जेडब्ल्यूजी) की बैठक में अवैध रूप से सीमा पार करने, तस्करी एवं चरमपंथ तथा आतंकवाद की रोकथाम सहित अन्य मुद्दों पर चर्चा हुई। इस दौरान अब सीमा के पूरे क्षेत्रों में बाड़ लगाई जाएगी। अभी तक कई सौ किलोमीटर में कोई बाड़ नहीं लगी थी।

प्रतिनिधि स्तर की 18वीं जेडब्ल्यूजी बैठक यहां पांच और छह दिसंबर को हुई। एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि सीमा पर बाड़ लगाना, अंतराष्ट्रीय सीमा के 150 गज के अंदर विकास कार्य तथा अवैध रूप से सीमा पार करने और चरमपंथ, आतंकवाद, संगठित अपराध एवं तस्करी को रोकने के विषय पर चर्चा हुई। भारत-बांग्लादेश सीमा की कुल लंबाई 4096.70 किमी है, जिनमें से 3,145 किमी में बाड़ लगाई गई है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने अपने बांग्लादेशी समकक्ष असदुज्जमान खान से यहां एक सम्मेलन से इतर 18 नवंबर को मुलाकात की थी।

आपसी संबंध है भारत-बांग्लादेश के मधुर संबंधों का राज

भारतीय सेना की पूर्वी कमान ने मंगलवार को कहा कि भारत बांग्लादेश का सिर्फ इतिहास और संस्कृति एक समान नहीं है, बल्कि दोनों के बीच का मधुर संबंध लोगों के बीच आपसी संबंधों और परस्पर सम्मान की मजबूत नींव पर टिका है। पूर्वी कमान के मेजर जनरल जनरल सर्विस (एमजीजीएस) मेजर जनरल डी.एस.कुशवाहा ने यह भी कहा कि दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों ने ‘पड़ोसी पहले’ की नीति के तहत भारत-बांग्लदेश के संबंधों को नया अर्थ दिया है। बांग्लादेश मुक्ति संग्राम, 1971 की वर्षगांठ से ठीक पहले कुशवाहा ने कहा कि दोनों देशों के बीच संबंधों की नयी उपलब्धियों में भूमि-समुद्री सीमा तय करने को लेकर समझौता, संपर्क बेहतर होना, सांस्कृतिक आदान-प्रदान और व्यापार-वाणिज्य में बढ़ोतरी शामिल हैं। कोलकाता में बांग्लादेश के उप उच्चायुक्त अंदालिब इलियास ने ‘बिजॉय माश-ऐर सुवेच्छा’ (विजय मास की बधाई) देते हुए कहा कि ‘‘दोनों देशों के बीच गहरी मित्रता है।’

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