Sunday, December 22, 2024
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मिशन गगनयान : ISRO का क्रू मॉड्यूल भरेगा उड़ान, श्रीहरिकोटा में कल सुबह अहम परीक्षण

मिशन गगनयान के लिए इसरो कल सुबह क्रू मॉड्यूल उड़ान की टेस्टिंग करेगा। जानकारी के मुताबिक 21 अक्टूबर को सुबह सात बजे से नौ बजे के बीच श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से से यह परीक्षण किया जाएगा।

Edited By: Niraj Kumar @nirajkavikumar1
Published : Oct 20, 2023 11:18 IST, Updated : Oct 20, 2023 15:18 IST
गगनयान परीक्षण उड़ान के लिए तैयार
Image Source : ISRO गगनयान परीक्षण उड़ान के लिए तैयार

ISRO Gaganyaan Mission: मिशन चंद्रयान-3 की सफलता के बाद नए उत्साह से भरपूर भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) कल मिशन गगनयान के तहत मानव रहित उड़ान परीक्षण शुरू करेगा। इसरो की ओर से यह जानकारी दी गई है। बताया गया है कि इसरो 21 अक्टूबर को सुबह सात बजे से नौ बजे के बीच श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से एक परीक्षण यान के प्रक्षेपण के साथ ही गगनयान मानव अंतरिक्ष उड़ान मिशन के लिए मानव रहित उड़ान परीक्षण शुरू करेगा। 

टीवी-डी1 परीक्षण उड़ान

इसरो ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, ‘ मिशन गगनयान : टीवी-डी1 परीक्षण उड़ान 21 अक्टूबर, 2023 को सुबह सात बजे से नौ बजे के बीच श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से निर्धारित है। ’ इसरो के अध्यक्ष एस सोमनाथ ने बताया है कि 21 अक्टूबर को टीवी-डी1 परीक्षण उड़ान के बाद गगनयान कार्यक्रम के तहत तीन और परीक्षण यान मिशन शुरू किए जाएंगे। इसरो ने गगनयान परियोजना के तहत मानव दल को पृथ्वी की 400 किलोमीटर की कक्षा में सफलतापूर्वक प्रक्षेपित करके उसे भारतीय समुद्री सतह पर उतारकर पृथ्वी पर सुरक्षित रूप से वापस लाने की प्लानिंग की है। 

परीक्षण यान की उड़ान (टीवी-डी1) का उद्देश्य क्रू मॉड्यूल (सीएम) का परीक्षण करना है जो अगले साल के अंत में मानव अंतरिक्ष उड़ान के दौरान भारतीय अंतरिक्ष यात्रियों को ले जाएगा। टीवी-डी1 परीक्षण उड़ान में मानव रहित क्रू मॉड्यूल को बाहरी अंतरिक्ष में प्रक्षेपित करना, इसे पृथ्वी पर वापस लाना और बंगाल की खाड़ी में उतरने के बाद इसे वहां से सुरक्षित निकालना है। नौसेना ने मॉड्यूल को पुन: प्राप्त करने के लिए ‘मॉक ऑपरेशन’ पहले ही शुरू कर दिया है।

कुछ इस तरह से होगा परीक्षण

गगनयान के इस परीक्षण के दौरान 17 किमी की ऊंचाई पर उड़ान भरते समय सेफ्टी सिस्टम रॉकेट से अलग हो जाएगा फिर क्रू कैप्सूल को सुरक्षित धरती पर वापस लाने के लिए पैराशूट खोलने की तरह स्टेज सिरीज को एक्टिव किया जाएगा। फिर यह यान श्री हरिकोटा से 10 किलोमीटर दूर समुद्र में उतरेगा। यह टेस्ट इस बात को पुख्ता करने में मदद करेगा कि अंतरिक्ष यात्रा के दौरान कुछ गड़बड़ होने पर भी अंतरिक्ष यात्री सुरक्षित रह सकते हैं। गगनयान को लॉन्च करने से पहले इसरो कई परीक्षणों के द्वारा इस अभियान की सफलता को सुनिश्चित करना चाहता है।

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