India TV Budget Samvaad: केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल को उम्मीद है कि इस वित्तीय वर्ष में भारत के सर्विस सेक्टर का निर्यात 350 अरब डॉलर तक पहुंच जाएगा, जबकि पिछले वित्त वर्ष में यह लगभग 300 अरब डॉलर था। पीयूष गोयल ने कल रात 'इंडिया टीवी बजट संवाद' में सवालों के जवाब में कहा कि सर्विस सेक्टर का निर्यात दो साल पहले के 250 अरब डॉलर की तुलना में हर साल 20 से 22 फीसदी की वार्षिक वृद्धि दर्ज कर रहा है। जिसमें सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) का भारी योगदान है।
पीयूष गोयल ने राहुल गांधी के इन आरोपों को बेबुनियाद बताया कि भारत में इस वक्त 40 प्रतिशत युवा बेरोजगार हैं। पीयूष गोयल ने कहा कि तथ्य इसके बिल्कुल विपरीत हैं।
गोयल ने कहा, इस साल की शुरुआत में गारमेंट्स, होज़ियरी निर्माण के लिये मशहूर तमिलनाडु के तिरुपुर से स्थानीय निर्माताओं के संघ के साथ मेरी बैठक हुई जिसमें निर्माताओं ने अपने यहां प्रशिक्षण और रोजगार के लिए 50,000 लोगों को तुरंत भेजने का अनुरोध किया था। इसकी पुष्टि आप फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गेनाइजेशन (भारतीय निर्यात संगठन महासंघ) के अध्यक्ष डॉ. ए शक्तिवेल से कर सकते हैं। उन्होंने बैठक के बाद मुझसे कहा कि बेहतर होगा कि आप एक लाख लोगों को यहां प्रशिक्षण और नौकरियों के लिए तुरंत भेजें, क्योंकि जब तक लोग यहां पहुंचते हैं, तब तक लगभग 50,000 कर्मचारी प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद कहीं और नौकरी करने के लिए जा चुके होंगे।
पीयूष गोयल ने कहा, इस साल का केंद्रीय बजट 'चुनावी बजट' नहीं है। गोयल ने कहा 'ये चुनावी बजट है ही नहीं। यह रेवड़ियों का भानुमती का पिटारा खोलनेवाला बजट नहीं है।'
पीयूष गोयल 2024 के लोकसभा चुनाव को लेकर आशान्वित थे। उन्होंने कहा, " प्रधानमंत्री मोदी पिछले 21 वर्षों से अथक परिश्रम कर रहे हैं, जिसमें पीएम के रूप में उनका साढ़े आठ साल से ज्यादा का मौजूदा कार्यकाल भी शामिल है। बिना रुकावट के, बिना थकावट के। 2014 और 2019 की पहली कैबिनेट मीटिंग में उन्होंने हमलोगों से कहा था कि चुनाव खत्म हुए, चुनाव के बारे में सोचना बंद करो और केंद्रीय मंत्रियों के रूप में 130 करोड़ भारतीयों के हित में काम करो। 2024 के चुनावों के बाद भी वह अपनी पहली कैबिनेट बैठक में यही बात कहने वाले हैं।'
वाणिज्य मंत्री ने कहा, '2014 में भारत में केवल 400 स्टार्टअप थे और अब इसकी संख्या बढ़कर 90 हजार हो गई है, उस वक्त केवल 5 यूनिकॉर्न थे और अब 40 लाख करोड़ रुपये के बाजार मूल्यांकन के साथ सौ से ज्यादा यूनिकॉर्न हैं।"
पीयूष गोयल ने कहा, 'पिछले साल दो एफटीए (मुक्त व्यापार समझौते) साइन किए गए। एफटीए के लिए अन्य देशों के सामने हम प्रोजेक्ट कर रहे हैं कि भारत 25 साल बाद क्या हासिल करने जा रहा है। 25 साल बाद भारत की अर्थव्यवस्था 3 ट्रिलियन डॉलर से 10 गुना बढ़ कर 35 ट्रिलियन डॉलर हो जाएगी जबकि उन देशों की अर्थव्यवस्था मुश्किल से ढाई से तीन गुना ही बढ़ सकती है।'
वाणिज्य मंत्री ने कहा, 'गेहूं, चावल, दाल, खाद्य तेल, लोहा और यहां तक कि सीमेंट की कीमतों पर नजर रखने के लिए गृह मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता में मंत्रियों के समूह की रोजना मीटिंग होती है और जरूरी कदम उठाए जाते हैं। आज महंगाई दर लगभग 5.7 फीसदी है, जबकि 1974-75 में (इंदिरा गांधी के शासन के दौरान) महंगाई की दर 30 फीसदी को पार कर गई थी। 2007 से 2012 के बीच (यूपीए शासन के दौरान) औसत मुद्रास्फीति दर 10 से 12 फीसदी थी।'
पीयूष गोयल ने कहा, 'विपक्षी दल इस साल के बजट को देखकर स्तब्ध हैं, क्योंकि यह समाज के सभी वर्गों के लाभ के लिए समर्पित बजट है। यह आने वाले 25 वर्षों में देश की प्रगति की नींव रखनेवाला बजट है।'
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