Gyanvapi Mosque Case: वाराणसी कोर्ट आज ज्ञानवापी मस्जिद परिसर में दो तहखानों (बेसमेंट) के सर्वे की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करेगा। कोर्ट ने पिछले महीने इस मांग पर समय पर आपत्ति दर्ज नहीं करने पर मस्जिद समिति पर जुर्माना लगाया था और मामले में पक्षकार बनने के लिए चार लोगों की मांग खारिज कर दी थी। जिन लोगों ने मामले में पक्षकार बनने के लिए आवेदन दायर किया था, उनमें काशी विश्वनाथ मंदिर के पूर्व महंत कुलपति तिवारी, हिंदू सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष विष्णु गुप्ता, बुनकर मुख्तार अहमद अंसारी और ब्राह्मण महासभा के अध्यक्ष अजय कुमार शर्मा शामिल हैं।
वहीं कुछ आवेदकों ने मस्जिद की बाहरी दीवार पर स्थित देवताओं मूर्तियों की नियमित पूजा की अनुमति के लिए मामले में पक्षकार बनने के लिए अनुरोध किया था, जबकि बाकी ने कहा कि उन्हें मामले की विस्तृत जानकारी है। मामले से जुड़े वकील दावा करते रहे हैं कि तहखाने "वजूखाना" के पास स्थित हैं, जो मस्जिद परिसर में धार्मिक कार्य करने की जगह है। हिंदू पक्ष के याचिकाकर्ताओं में से एक ने भगवान गणेश और देवी लक्ष्मी की मूर्तियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने का भी अनुरोध किया। उनका दावा है कि इन्हें परिसर से बरामद किया गया है।
शिवलिंग की वैज्ञानिक जांच से किया था इनकार
इससे पहले बीते महीने कोर्ट ने हिंदू याचिकाकर्ताओं की उस याचिका को ठुकरा दिया था, जिसमें मस्जिद परिसर में पाए गए एक "शिवलिंग" की वैज्ञानिक जांच और कार्बन डेटिंग की मांग की गई थी। मुस्लिम पक्ष ने दावे को खारिज कर दिया है। ज्ञानवापी मस्जिद प्रतिष्ठित काशी विश्वनाथ मंदिर के बगल में स्थित है और वाराणसी की अदालत में उन दावों पर बहस हो रही है, जिनमें कहा गया है कि मस्जिद का निर्माण मुगल शासक औरंगजेब के आदेश पर हिंदू मंदिर के एक हिस्से के ऊपर किया गया था।