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Goa News: लापरवाही के कारण महामारी के दौरान गोवा में 241 टन दाल खराब हुईं, मंत्री का दावा

Goa News: गोवा के मंत्री गोविंद गौड़े ने दावा किया कि साल 2020 में कोविड-19 महामारी के दौरान नौकरशाही की लापरवाही की वजह से राज्य में 241 टन तुअर (अरहर) की दाल खराब हो गई।

Edited By: Swayam Prakash @@SwayamNiranjan
Published : Aug 16, 2022 16:56 IST, Updated : Aug 16, 2022 16:56 IST
Goa minister Govind Gaude
Image Source : ANI Goa minister Govind Gaude

Highlights

  • गोवा के मंत्री गोविंद गौड़े ने किया बड़ा दावा
  • महामारी के दौरान नौकरशाही की लापरवाही
  • 241 टन तुअर की दाल खराब होने की कही बात

Goa News: गोवा के मंत्री गोविंद गौड़े ने दावा किया कि साल 2020 में कोविड-19 महामारी के दौरान नौकरशाही की लापरवाही की वजह से राज्य में 241 टन तुअर (अरहर) की दाल खराब हो गई। गौड़े उस समय तत्कालीन प्रमोद सांवत नीत मंत्रिमंडल में नागरिक आपूर्ति मंत्री थे, जब तुअर दाल की खरीद की गई थी। गौड़े ने कहा कि उन्होंने नौकरशाहों से गोदामों में रखे अतिरिक्त खाद्यान्न की देखरेख करने को कहा था। गोवा के मंत्री गोविंद गौड़े ने कहा, ‘‘इसे घोटाला नहीं कहा जा सकता, लेकिन यह नौकरशाही की ओर से की गई लापरवाही थी, जिसकी वजह से तुअर की दाल सड़ गई।’’ 

नागरिक आपूर्ति निदेशक किए गए निलंबित

गौरतलब है कि गोवा फॉरवर्ड पार्टी के प्रमुख विजय सरदेसाई ने पिछले सप्ताह मांग की थी कि साल 2020 में 241 टन तुअर दाल खराब होने के मामले की जांच केंद्रीय एजेंसियों से कराई जाए। वहीं, सावंत सरकार ने पिछले सप्ताह तत्कालीन नागरिक आपूर्ति निदेशक सिद्धिविनायक नाइक को गोदाम में खाद्यान्न के खराब होने के लिए जिम्मेदार ठहराते हुए निलंबित कर दिया था। गौड़े ने कहा कि नागरिक आपूर्ति विभाग ने बाजार में दाल की कमी की आशंका के चलते महामारी के दौरान 408 टन तुअर दाल की खरीद की थी। 

अधिकारियों ने कोई कदम नहीं उठाया
गौड़े ने कहा, ‘‘हम नहीं चाहते थे कि गोवा खाद्यान्न की कमी का सामना करे और इसलिए यह खरीद की गई थी।’’ मंत्री ने कहा कि उचित मूल्य की दुकानों के मालिकों ने सीमित मात्रा में बिक्री के लिए दाल ली, इसकी वजह से बाकी दाल गोदामों में ही पड़ी रही। उन्होंने कहा, ‘‘जब तुअर की दाल गोदामों में ही तीन महीने तक पड़ी रही, तो मैंने अधिकारियों से कहा कि वह उचित मूल्य की दुकानों के मालिकों को बेचने के लिए दाल उधार दें या खुले बाजार में बेंच दें या ठेकेदारों के जरिये निस्तरण करा दें।’’ उन्होंने कहा, लेकिन अधिकारियों ने कोई कदम नहीं उठाया और दाल गोदामों में ही खराब हो गई। 

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