नयी दिल्ली: भारत में कोविड-19 की एक नई लहर आने की आशंकाओं के बीच एक्सपर्ट्स ने कहा है कि देश में लोगों को अभी वैक्सीन की चौथी डोज देने की जरूरत नहीं है। बता दें कि कोविड के खिलाफ दोनों टीके लगवा टीकाकरण पूरा करवा चुके कई लोगों ने भी अब तक एक भी एहतियाती खुराक नहीं ली है। विशेषज्ञों का कहना है कि इसके लिए एक ढांचागत और व्यवस्थित प्रतिक्रिया की जरूरत है। चीन में तेजी से संक्रमण फैलने के बाद कोविड एक बार फिर रडार पर है और लोग भारत में संक्रमण की एक और लहर की आशंका को लेकर चिंतित है।
‘देश में अधिकांश लोगों को नहीं मिली है तीसरी डोज’
क्या सरकार को 2 टीकों की सुरक्षा में वृद्धि के लिये दूसरी एहतियाती खुराक की अनुमति देनी चाहिए, इस पर कुछ वैज्ञानिक जमीनी स्तर पर हालात परखने के लिए कह रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोविड रोधी वैक्सीन की चौथी डोज इस समय देना ठीक नहीं है क्योंकि देश में अधिकांश लोगों को अभी तक तीसरी डोज ही नहीं मिली है और मौजूदा समय में इस्तेमाल की जा रही वैक्सीन को दूसरी एहतियाती खुराक के तौर पर दिए जाने की उपयोगिता पर कोई आंकड़ा उपलब्ध नहीं है। इसके अलावा, भारत में बड़ी संख्या में लोग वायरस के संपर्क में आ चुके हैं और उन्हें टीका भी लगाया गया है, ऐसे में स्थिति काफी अलग है।
‘चीन के हालात से भारत का अंदाजा लगाना मुश्किल’
भारतीय विज्ञान शिक्षा एवं अनुसंधान संस्थान (IISER) पुणे में शिक्षण कार्य से जुड़े सत्यजीत रथ ने कहा, ‘यह उम्मीद करने का कोई कारण नहीं है कि चीन के हालात से भारत के भविष्य के बारे में अंदाजा लग पाएगा। चीन में हालात विशेष रूप से देश द्वारा लगभग 3 वर्षों से अपनायी जा रही शून्य-कोविड नीतियों की वजह से है।’ चीन में पिछले कुछ सप्ताह में प्रतिदिन हजारों मामले सामने आ रहे हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि बुधवार को, भारत ने 0.14 प्रतिशत की दैनिक संक्रमण दर और 0.18 प्रतिशत की साप्ताहिक संक्रमण दर के साथ कोरोना वायरस संक्रमण के 188 नए मामले दर्ज किए।
‘वायरस फैल रहा है इसलिए नए वेरिएंट आ रहे हैं’
रथ ने कहा, ‘टीकाकरण के अलावा व्यापक वास्तविक संक्रमण के साथ भारतीय स्थिति काफी अलग है। और कोविड वायरस आखिरकार फैल रहा है और इसलिए केवल चीन में ही नहीं, बल्कि दुनिया भर के समुदायों में उत्परिवर्तित हो रहा है, इसलिए हर जगह नए स्वरूप (वेरिएंट) उभर रहे हैं।’ IISER पुणे से ही प्रतिरक्षा विज्ञानी विनीता बल ने कहा, ‘करीब एक साल पहले ही भारत में ओमीक्रॉन लहर आई थी। अगर इस संक्रमण की वजह से पर्याप्त ओमीक्रोन प्रतिरक्षा नहीं बनी तो भारत में फिलहाल उपलब्ध कोई भी टीका और सुरक्षा प्रदान नहीं करेगा।’
‘अगले 40 दिन बेहद ही महत्वपूर्ण होने वाले हैं’
बता दें कि सरकार ने बुधवार को आगाह किया कि अगले 40 दिन महत्वपूर्ण होंगे क्योंकि भारत में जनवरी में कोविड में उछाल देखा जा सकता है। प्रतिरक्षा विज्ञानी गगनदीप कंग ने भी पिछले हफ्ते ट्वीट कर भारत में संक्रमण के नए मामलों में बड़े उछाल की आशंका को खारिज किया था। क्रिश्चन मेडिकल कॉलेज, वेल्लोर में प्रोफेसर कंड ने ट्वीट किया था, ‘फिलहाल भारत ठीक कर रहा है। हमारे पास कुछ मामले हैं, हमारे पास कुछ समय के लिए XBB और BF.7 थे और वे भारत में मामलों में कोई विशेष उछाल नहीं लेकर आए। इससे भी अधिक संक्रामक स्वरूप की अनुपस्थिति में, मुझे उछाल की उम्मीद नहीं है।’
अमेरिका और ब्रिटेन में दी जा रही है एक्सट्रा डोज
बता दें कि अमेरिका और ब्रिटेन जैसे देश वैक्सिनेटेड लोगों को तीसरी और चौथी बूस्टर डोज के साथ-साथ इम्यूनिटी में अक्षम लोगों को एक्सट्रा डोज दे रहे हैं। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, देश में लगभग 22.35 करोड़ एहतियाती खुराक दी गई है, जो तीसरी खुराक के लिए पात्र कुल जनसंख्या का 27 प्रतिशत है। बड़ी आबादी को अब भी एहतियाती खुराक दी जानी बाकी है। ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि आने वाले दिनों में लोग प्रिकॉशन डोज लेने के महत्व को समझते हुए टीकाकरण करवाएंगे। (भाषा)