Highlights
- फेमा एक्ट नियमों के उल्लंघन को लेकर रेड
- दो राज्यों में आठ जगहों पर की गई छापेमारी
- एजेंसी ने हवाला लेन-देन की भी पड़ताल की
ED Action in Telangana And Andhra Pradesh: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने बुधवार को तेलंगाना के हैदराबाद और आंध्र प्रदेश में आठ स्थानों पर कैसीनों के आयोजकों और एजेंटों के खिलाफ विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (FEMA Act ) नियमों के उल्लंघन के लिए छापेमारी की। यह जानकारी अधिकारियों ने दी।
अधिकारियों ने कहा कि कैसीनो आयोजकों, उनके सहयोगियों और एजेंटों के आवासों और अन्य स्थानों पर छापेमारी की गई। उन्होंने कहा कि केंद्रीय एजेंसी ने कथित हवाला लेन-देन की भी पड़ताल की। एक अधिकारी ने विस्तृत ब्योरा दिए बिना कहा, "फेमा के प्रावधानों के तहत आठ जगहों पर छापेमारी की गई।"
विजेताओं को हवाला लेन-देन के जरिए भुगतान का आरोप
आरोप लगाया गया है कि कैसीनों डीलरों और एजेंटों ने इस साल जून में नेपाल में कैसीनों का आयोजन किया। साथ ही कैसीनों में खेलने वालों के लिए विशेष उड़ानों की व्यवस्था की गई और विजेताओं को हवाला लेन-देन के माध्यम से भुगतान किया गया। यह पूछे जाने पर कि क्या ईडी ने छापेमारी के बाद कोई जब्ती की है, इस पर अधिकारी ने कोई टिप्पणी नहीं की।
झारखंड: ईडी ने 30 करोड़ के एक पोत को जब्त किया
वहीं, एक अन्य मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आज बताया कि उसने झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के सहयोगी से जुड़े एक व्यक्ति द्वारा संचालित 30 करोड़ रुपये मूल्य के एक पोत को जब्त किया है, जिसका इस्तेमाल कथित तौर पर अवैध खनन के जरिए निकाले गए पत्थर ले जाने के लिए किया जाता था।
उन्होंने कहा कि पोत झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के राजनीतिक सहयोगी पंकज मिश्रा से जुड़ा है, जिन्हें ईडी ने हाल ही में एक अवैध खनन मामले में गिरफ्तार किया था। वह एक अगस्त तक एजेंसी की हिरासत में हैं। अधिकारियों ने कहा कि इंफ्रालिंक-3 नामक इस अंतर्देशीय पोत की पंजीकरण संख्या डब्ल्यूबी 1809 है।
अवैध रूप से पोत का संचालन किया जा रहा था- एजेंसी
ईडी ने मंगलवार को स्थानीय थाने में पोत के मालिक के खिलाफ प्राथमिकी भी दर्ज कराई थी। संघीय एजेंसी ने बुधवार को एक बयान में कहा कि झारखंड के साहेबगंज के सुकरगढ़ घाट से बिना किसी अनुमति के अवैध रूप से पोत का संचालन किया जा रहा था। ईडी ने कहा, "पंकज मिश्रा और अन्य की मिलीभगत से राजेश यादव उर्फ दाहू यादव के कहने पर पोत का संचालन किया जा रहा था। इसके जरिए अवैध रूप से खनन किए गए पत्थर भेजे जा रहे थे। बयान में कहा गया है कि पोत की अनुमानित कीमत करीब 30 करोड़ रुपये है।