मणिपुर हिंसा मामले में कल इस्तीफा देने जा रहे सीएम एन बीरेन सिंह ने इस्तीफा देने से इनकार कर दिया था। हालांकि इससे पहले जब वो मणिपुर की राज्यपाल को इस्तीफा देने के लिए निकले तो उनके समर्थन में हजारों की संख्या में लोग विरोध करने लगे। साथ ही भारी संख्या में महिलाओं ने भी सीएम से इस्तीफा न देने की अपील की। इस मामले पर सीएम एन बीरेन सिंह का कहना है कि जनता के विश्वास के बिना कोई नेता नहीं हो सकता है। मुझे अच्छा लगा जब मै सीएम हाउस से बाहर निकला तो वहां बड़ी संख्या में लोग जमा होकर मेरे इस्तीफे का विरोध कर रहे थे।
इस्तीफे पर बोले सीएम बीरेन सिंह
उन्होंने कहा कि सीएम हाउस के बाहर खड़ी भीड़ रो रही थी और उन्होंने मुझपर अपना भरोसा दिखाया। वे अब भी मेरे समर्थन में खड़े हैं, ऐसे में इस्तीफे को लेकर मेरे संदेह को उन्होंने गलत साबित कर दिया है। उन्होंने मुझसे कहा कि मैं इस्तीफा न दूं। अगर वे मुझसे इस्तीफा देने के लिए कहेंगे तो मैं इस्तीफा दे दूंगा। राज्य में हिंसा के कारणों के बारे में जब उनसे सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि मैं भी इस बारे में कुछ नहीं कह सकता हूं। मैं उलझन में हूं। हम यह नहीं कह सकते हैं लेकिन मणिपुर म्यांमार का पड़ोसी है। पास में ही चीन है। जो अभी हो रहा है उसे देखते हुए हम न तो इनकार कर सकते हैं और नहीं पूरी तरीके से पुष्टि कर सकते हैं। लेकिन यह पूर्व नियोजित लग रहा है, लेकिन इसके कारणों का खुलासा नहीं हुआ है।
जनता का हमपर अब भी विश्वास
सीएम ने कहा कि कुछ स्थानों पर भाजपा के दफ्तरों और अन्य जगहों पर हमले को देखकर मुझे लगा कि हमने 5-6 वर्ष में जो मणिपुर के लिए किया, शायद लोगों का समर्थन हमने खो दिया है। इस कारण मैंने यह फैसला किया था कि मैं सीएम के पद से इस्तीफा दे दूंगा। लेकिन मुझे एहसास हुआ कि जैसा मैं सोच रहा हूं वैसा नहीं है। क्योंकि जनता का विश्वास अब भी मेरे साथ है। कल मैंने देखा कि मेरे लिए लोग आए। जनता का विश्वास अब भी हमारे साथ है। मैं लोगों का आभारी हूं और मणिपुर के लिए मैं कामना करता हूं।
ये भी पढ़ें- 'झूठी गारंटी देनेवालों से सावधान रहें', शहडोल की सभा में पीएम मोदी ने साधा विरोधियों पर निशाना