Highlights
- वरुण सिंह को बेंगलुरु के कमांड अस्पताल में बेहतर इलाज के लिए कोयम्बटूर से हवाई मार्ग से वहां ले जाया गया।
- 80 फीसदी तक झुलसे ग्रुप कैप्टन का वेलिंगटन के सैन्य अस्पताल में इलाज चल रहा था।
कोयम्बटूर: तमिलनाडु के कुन्नूर के निकट हेलीकॉप्टर दुर्घटना में जीवित बचे इकलौते व्यक्ति ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह को बेहतर इलाज के लिए बृहस्पतिवार को बेंगलुरू ले जाया गया। अधिकारिक सूत्रों ने बताया कि भारतीय वायुसेना के ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह को बेंगलुरु के कमांड अस्पताल में बेहतर इलाज के लिए कोयम्बटूर से हवाई मार्ग से वहां ले जाया गया। सूत्रों ने बताया कि दुर्घटना के बाद 80 फीसदी तक झुलसे ग्रुप कैप्टन का वेलिंगटन के सैन्य अस्पताल में इलाज चल रहा था, जहां उनकी हालत गम्भीर परंतु स्थिर बतायी जा रही थी।
रुस निर्मित हेलीकॉप्टर एमआई- 17वी5 दुर्घटना में रक्षा प्रमुख अध्यक्ष (सीडीएस) बिपिन रावत, उनकी पत्नी मधुलिका और सशस्त्र बल के 11 कर्मियों की मौत हो गयी। इस हेलीकॉप्टर में ग्रुप कैप्टन सिंह देश के सर्वोच्च सैन्य अधिकारी जनरल रावत की वेलिंगटन में डिफेंस सर्विसेज स्टाफ कॉलेज की यात्रा के लिए सम्पर्क अधिकारी के तौर पर मौजूद थे। वह फिलहाल इसी प्रतिष्ठित कॉलेज में इंस्ट्रक्टर के रूप में कार्यरत हैं।
इस बीच भोपाल निवासी ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह के पिता कर्नल (सेवानिवृत्त) केपी सिंह ने फोन पर कहा, ‘‘उन्हें (वरुण को) बेंगलुरु शिफ्ट (स्थानांतरित) किया जा रहा है। मैं वेलिंगटन पहुंच गया हूं।’’ ग्रुप कैप्टन की हालत के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘‘अभी मैं उनकी स्थिति के बारे में ज्यादा कुछ नहीं बता पाऊंगा।’’ भोपाल हवाईअड्डा रोड पर सन सिटी स्थित केपी सिंह के पड़ोसी लेफ्टिनेंट कर्नल (सेवानिवृत्त) ईशान आर ने कहा कि मुझे उम्मीद है कि ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह ठीक हो जाएंगे।
उन्होंने कहा कि जब बुधवार को यह दुर्भाग्यपूर्ण खबर के पी सिंह को मिली तब वह और उनकी पत्नी उमा अपने छोटे बेटे तनुज के मुंबई स्थित घर में थे। तनुज नौसेना में लेफ्टिनेंट कमांडर हैं। ईशान ने कहा, ‘‘मैंने आज सुबह कर्नल के पी सिंह से बात की। उन्होंने मुझसे कहा कि उनका बेटा फाइटर (योद्धा) है और वह इस संकट को भी पार कर लेगा।’’