असम के मोरीगांव जिले में वन और रेलवे की जमीन पर अवैध रूप से बसे करीब 1500 परिवारों को यह क्षेत्र खाली करने के लिए कहा गया है। जिला आयुक्त देवाशीष शर्मा ने सोमवार को संवाददाताओं से बात करते हुए कहा कि करीब 10,000 लोगों के ये परिवार जागीरोड के सिलभंगा गांव में सरकारी जमीन पर बस गए हैं। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र के लोगों को 12 जून को नोटिस दिया गया था, जिसमें लोगों को 10 दिन के भीतर इस जमीन को खाली करने के लिए कहा गया है।
कुछ परिवारों ने समय मांगा
उन्होंने कहा कि इसमें से अधिकतर परिवारों ने इस आदेश का पालन किया है। देवाशीष शर्मा ने आगे बताया कि इनमें से कुछ परिवार के बच्चे अलग-अलग परीक्षाओं में शामिल होने वाले हैं, जिसके लिए उन्होंने समय मांगा है। मानवीय व्यवहार के तौर पर हमने परीक्षा खत्म होने तक उनके रहने का इंतजाम करने का फैसला किया है। जिला आयुक्त ने कहा कि प्रशासन इस जमीन को बल प्रयोग किए बिना और संरचनाओं को ध्वस्त किए बगैर खाली कराने के लिए काम कर रही है।
अवैध रूप से कब्जा की गई भूमि
उन्होंने कहा कि हमने लोगों से बातचीत की और वे ऐसा करने के लिए सहमत हो गए हैं। उनमें से लगभग 80 प्रतिशत लोगों ने पहले ही अवैध रूप से कब्जा की गई भूमि से अपना सामान हटा लिया है। इलाके में कोई अप्रिय घटना न हो इसको सुनिश्चित करने के लिए जिला आयुक्त देवाशीष शर्मा ने दिन के वक्त में इस क्षेत्र का दौरा किया। यहां सुरक्षाबलों को भी तैनात किया गया है। जिला आयुक्त ने कहा कि हमें उम्मीद है कि लोग शांतिपूर्वक इलाके से निकल जाएंगे। (भाषा)
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