Highlights
- 21 मई को पड़ता है नेशनल एंटी-टेररिज्म डे
- आतंकवाद के खिलाफ दिखाता है एकजुटता
- पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की होती है पुण्यतिथि
National Anti Terrorism Day 2022: भारत में हर साल 21 मई को नेशनल एंटी-टेररिज्म डे यानी राष्ट्रीय आंतकवाद विरोधी दिवस के रूप में मनाया जाता है। यह पहली बार साल 2002 में भारतीय संसद पर हुए आतंकवादी हमले के एक साल बाद मनाया गया था। यह दिन आतंकवाद के पीड़ितों को याद करने और आतंकवाद जैसे वैश्विक खतरे के खिलाफ एकजुट होने की जरूरत के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए मनाया जाता है।
21 मई को क्यों मनाते हैं ये दिवस
भारत के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की पुण्यतिथि के उपलक्ष्य में 21 मई को राष्ट्रीय आतंकवाद विरोधी दिवस मनाया जाता है। यह दिन शांति, सद्भाव और मानव जाति के संदेश को फैलाने और लोगों के बीच एकता को बढ़ावा देने के लिए भी मनाया जाता है। बताते चलें कि राजीव गांधी भारत के सबसे युवा प्रधानमंत्री थे। उन्हें देश के छठे प्रधान मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया और 1984 से 1989 तक वह प्रधानमंत्री के पद पर रहे।
गृह मंत्रालय की ओर से कहा गया है कि प्रतिभागियों और आयोजकों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए और सार्वजनिक समारोहों से बचने के लिए अधिकारियों द्वारा 'आतंकवाद विरोधी शपथ' अपने कमरों और कार्यालयों में ही ली जा सकती है।
आंतकवाद विरोधी दिवस का महत्व
2001 के संसद हमलों के पीड़ितों को याद करने और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई के लिए फिर से प्रतिबद्ध होने के लिए भारत आंतकवाद विरोधी दिवस मनाता है। यह दिन सभी हितधारकों के बीच आतंकवाद विरोधी सहयोग और समन्वय के महत्व को दर्शाने का भी एक अवसर है। आंतकवाद विरोधी दिवस की स्थापना के बाद से ही, यह दिन आतंकवाद के खतरे के खिलाफ निरंतर सतर्कता की जरूरत को याद दिलाता है।
हाल के वर्षों में, भारत ने अपने आतंकवाद विरोधी प्रयासों को खासी गति दी है, लेकिन आतंकवाद का खतरा निरंतर बना हुआ है। राष्ट्रीय आतंकवाद विरोधी दिवस पर, हम इस संकट से लड़ने के लिए अपनी प्रतिबद्धता को सुनिश्चित करते हैं और उन सभी के साथ एकजुटता से खड़े होते हैं जो आतंकवादी हमलों से प्रभावित हुए हैं।
आतंकवाद विरोधी दिवस का उद्देश्य
भारत में हर साल 21 मई को राष्ट्रीय आतंकवाद विरोधी दिवस मनाया जाता है। यह दिन भारत के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की पुण्यतिथि के रूप मनाया जाता है, जिनकी 1991 में इसी दिन एक आत्मघाती हमलावर द्वारा हत्या कर दी गई थी। यह दिन आतंकवाद का लोगों और देश पर इसके प्रभावों के बारे में जागरूकता पैदा करने के लिए भी मनाया जाता है। आतंकवाद विरोधी दिवस आतंकवाद के सभी पीड़ितों और उनके परिवारों को याद करने के लिए भी मनाया जाता है।