मथुरा/आगरा: केन्द्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने दावा किया है कि दिल्ली और मथुरा में यमुना की सफाई के लिए जिस गति से काम हो रहा है, उसके पूरा होने पर सवा साल के भीतर नदी का पानी पीने योग्य हो जाएगा। उत्तर प्रदेश के मथुरा और आगरा जिले में ‘नमामि गंगे’ मिशन के तहत विभिन्न परियोजनाओं का शिलान्यास करने के बाद उन्होंने यह बात कही।
केन्द्रीय परिवहन मंत्री गडकरी बुधवार को मथुरा में ‘नमामि गंगे’ मिशन के तहत 460.45 करोड़ की लागत वाले मथुरा व वृन्दावन के सीवेज सिस्टम की नवीनीकरण परियोजना का शिलान्यास करने पहुंचे थे। गडकरी ने कहा कि गंगा-यमुना की शुद्धी हमारे लिए राजनीति का विषय नहीं है। यह काम करके हम चुनाव जीतने की आशा भी नहीं रखते हैं। गंगा हमारी संस्कृति और इतिहास का अंग हैं। गंगा मैली होने से दुनिया में हमारा सिर शर्म से झुक जाता था। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। मिशन की सभी परियोजनाएं पूरी होते-होते गंगा-यमुना पूरी तरह से शुद्ध हो जाएंगी।
उन्होंने कहा कि राजीव गांधी ने गंगा एक्शन प्लान के तहत 7,000 करोड़ रुपए खर्च किए, लेकिन नतीजा शून्य रहा। ‘‘हमारी सरकार ने अब नदी स्वच्छता का बीड़ा उठाया है और गंगा तथा उससे जुड़े 40 नदियों को स्वच्छ बनाने का काम चल रहा है। गडकरी ने केन्द्र सरकार के काम की तारीफ करते हुए कहा कि अभी तक 75 परियोजनाएं पूरी हो चुकी हैं। इसी वजह से प्रयागराज में कुंभ स्नान के वक्त गंगा स्वच्छ है। वहां से लोग मुझे, मेरी सरकार को और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बधाई दे रहे हैं।
उन्होंने कहा कि ‘नमामि गंगे मिशन’ के तहत दिल्ली में यमुना की 12 परियोजनाओं पर काम चल रहा है। इससे पहले सोनीपत व पानीपत में 218 करोड़ की लागत से पूरा सीवेज सिस्टम दुरुस्त किया गया है। ‘‘सभी काम पूरे होने पर यमुना का पानी इतना शुद्ध हो जाएगा कि उसे पिया जा सकेगा।’’ केंद्रीय मंत्री ने इस दौरान दिल्ली से मथुरा होते हुए आगरा तक के लिए ‘एयरबोट’ सेवा शुरू करने की भी घोषणा की। उन्होंने कहा कि इसका परीक्षण फरवरी माह में होगा। गडकरी ने आगरा में भी कई परियोजनाओं का शिलान्यास किया।