नई दिल्ली: कश्मीर से केरल तक भारी बारिश ने तबाही मचा रखी है। मानसून के इस मौसम में सात राज्यों में बाढ़ और बारिश से जुड़ी घटनाओं में अभी तक 774 लोगों की मौत हो गई है। बाढ़ और बारिश के कारण केरल में 187, उत्तर प्रदेश में 171, पश्चिम बंगाल में 170 और महाराष्ट्र में 139 लोगों की जान गयी है। वहीं गुजरात में 52, असम में 45 और नगालैंड में आठ लोगों की मौत हुई है।
भारी बारिश और जानलेवा सैलाब ने पहाड़ों की रानी शिमला की सूरत बिगाड़ कर रख दी है। शिमला में बारिश ने सवा सौ साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। यहां इतनी बारिश हुई कि पहाड़ से नीचे पहुंचा मलब कई कारों की कब्रगाह बन गया। जिस खूबसूरती को देखने के लिए दुनिया भर से लोग शिमला पहुंचते हैं वहां आफत ने कोहराम मचा दिया है। शिमला के पास जाखू में लैंडस्लाइड से कई पेड़ गिर गए जिसकी चपेट में 8-10 गाड़ियां भी आ गईं।
हिमाचल प्रदेश के सोलन जिले के सुल्तानपुर में अचानक बेहद तेज़ी से पहाड़ों से मटमैला पानी आया कि लोगों को संभलने का भी मौका नहीं मिला। बारिश की वजह से अश्विनी नदी ने विकराल रूप ले लिया है। बाढ़ की तबाही में नदी के किनारे के रेस्टारेंट बह चुके हैं। जमीन दरकने की वजह से हेरिटेज कालका-शिमला रेलवे ट्रैक भी पूरी तरह से बंद हो गया है। पहाड़ों को बारिश के कहर से फिलहाल राहत मिलने की उम्मीद नहीं है क्योंकि मौसम विभाग ने 48 घंटे में और तेज बारिश की आशंका जताई है।
वहीं GOD's OWN COUNTRY के नाम से मशहूर केरल पर कुदरत का ऐसा कहर टूटा है कि पूरा राज्य त्राहि-त्राहि कर रहा है। बारिश और बाढ़ ने केरल की सूरत ही बिगाड़कर रख दी है। केरल में पिछले कुछ दिनों में तबाही की ऐसी बारिश हुई है कि इसने पच्चीस साल का रिकॉड तोड़ दिया है। मल्लपुरम से लेकर इडुक्की, कोझिकोड और वायनाड में हालात सबसे ज्यादा खराब हैं। केरल को राहत देने के काम में सेना के जवान रात-दिन लगे हैं। हालांकि पानी का बहाव थोड़ा कम हुआ है लेकिन लगातार हो रही बारिश से कभी-कभी फ्लैश फ्लड जैसे हालात पैदा हो जाते हैं।
मौसम विभाग ने यहां आज फिर भारी बारिश होने की चेतावनी जारी की है। सेना के जवान केरल के बाढ प्रभावित इलाकों में कई दिनों से तैनात हैं। ऑपरेशन सहयोग के तहत लोगों की मदद कर रहे हैं। राहत और बचाव काम तेज़ी से जारी है। एर्नाकुलम जिले में सैकड़ों लोग रिलीफ कैंप्स में रह रहे हैं। बारिश र्और बाढ़ से 8 हज़ार करोड़ से ज्यादा का नुकसान हो चुका है। केंद्र ने 100 करोड़ की मदद का जो ऐलान किया है लेकिन सूबे की सरकार उसे नाकाफी बता रही है।
कर्नाटक के तटीय इलाकों में भी भारी बारिश ने तबाही मचाई है। उडुपी में एक बोट पानी में डूब गई। इस बोट से मछुआरे समंदर में मछलियां पकड़ने गए थे लेकिन लहरों में फंस गए। उनकी जान तो बच गई लेकिन बोट समंदर में चली गई। मौसम विभाग ने जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड के साथ ही दक्षिण में केरल और कर्नाटक में भारी बारिश की चेतावनी दी है। पहाड़ों पर तो भारी से भी भारी बारिश हो सकती है। उत्तर प्रदेश और ओडिशा में भी भारी बारिश की चेतावनी जारी की गई है।