नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी के नेता सुब्रह्मण्यम स्वामी ने विजय माल्या के प्रत्यर्पण को लेकर सरकार के रवैये पर निशाना साधते हुए कहा कि माल्या के प्रत्यर्पण को लेकर सरकार गंभीर नहीं है। गुरुवार को माल्या के प्रत्यर्पण की लंदन में सुनवी से पहले इस मामले पर ट्वीट कर उन्होंने अपनी नाराजगी जाहिर की। भारतीय बैंकों और वित्तीय संस्थाओं के साथ करीब 9000 करोड़ रुपये के कर्जों में धोखाधड़ी और मनी लॉन्ड्रिंग के मामलों में भारत से फरार चल रहे शराब कारोबारी विजय माल्या आज यहां प्रत्यर्पण के मामले में लंदन की अदालत में हाजिर हुए।
लंदन की वेस्टमिनिस्टर मेजिस्ट्रेटी अदालत इस मामले में 62 वर्षीय माल्या के खिलाफ भारत सरकार की ओर से पेश साक्ष्यों की न्यायिक स्वीकार्यता पर सुनवाई कर रही है। अदालत की न्यायाधीश एम्मा अर्बुथनॉट इन साक्ष्यों पर अपना निर्णय सुनाने के बाद अंतिम जिरह के लिए तारीखें तय करेंगी। वह उसके आधार पर फैसला करेंगी कि माल्या को क्या भारत में कानूनी कार्यवाही के लिए वहां की सरकार को सुपुर्द किया जा सकता है। यह मामला किंगफिशर एयरलाइंस से जुड़े कर्जों से संबंधित है। यह एयरलाइन अब बंद हो चुकी है।