तिरुवनंतपुरम: केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने मंगलवार को आगामी सबरीमाला तीर्थयात्रा पर चर्चा करने के लिए गुरुवार को सर्वदलीय बैठक बुलाई है। सर्वोच्च न्यायालय ने सभी आयु वर्ग की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश करने देने के अपने आदेश पर रोक लगाने की याचिका को खारिज कर दिया था। इसके बाद विजयन ने यह बैठक बुलाई है।
मुख्यमंत्री ने यहां मीडिया से कहा कि फैसला बहुत स्पष्ट है और शीर्ष अदालत ने सभी महिलाओं के लिए मंदिर खोलने के 28 सितंबर के फैसले पर रोक नहीं लगाई है।
लेकिन, जब मुख्यमंत्री से यह पूछा गया कि परंपरावादी और दक्षिणपंथी हिन्दू गुटों के व्यापक विरोध को देखते हुए क्या 10-50 के आयु वर्ग की महिलाओं को मंदिर में प्रार्थना करने की अनुमति दी जाएगी, तो मुख्यमंत्री ने गोलमोल जवाब दिया।
विजयन ने कहा, "हम आज (मंगलवार) के फैसले पर कानूनी विशेषज्ञों से बात करेंगे और फिर भविष्य की कार्रवाई का फैसला करेंगे।"
मंदिर में सभी उम्र समूह की महिलाओं के प्रवेश के खिलाफ भारी विरोध के बावजूद सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार को अपने पहले आदेश पर रोक लगाने से मना कर दिया।
सबरीमाला में दो महीने का पर्व 16 नवंबर से शुरू हो रहा है। इस दौरान इस मुद्दे पर विरोध तेज होने की आशंका है।
केरल में सत्तारूढ़ माकपा के राज्य सचिव कोडियारी बालकृष्णन ने कहा कि सरकार सर्वोच्च न्यायालय के फैसले का पालन करेगी।
राज्य कांग्रेस उपाध्यक्ष के. सुधाकरन ने कहा कि यदि प्रतिबंधित समूह की महिलाएं मंदिर में आती हैं तो वे कड़ा विरोध करेंगे।
समीक्षा याचिका दायर करने वालों में से एक नायर सेवा सोसाइटी ने सरकार से कहा है कि वह सबरीमाला परंपराओं का सम्मान सुनिश्चित करे।