नई दिल्ली: गलवान घाटी में देश के सैनिकों की शहादत और एलएसी पर जारी तनाव के बीच विदेश मंत्री एस जयशंकर और चीन के विदेश मंत्री विदेश मंत्री वांग यी से बात की है। दोनों नेताओं के बीच फोन पर बात हई है। बातचीत में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने चीन से स्पष्ट तौर पर कहा है कि गलवान घाटी की घटना चीन की तरफ से पूर्व नियोजित थी और जो कुछ भी है उसके लिए चीन ही जिम्मेदार है। विदेश मंत्री जयशंकर ने चीनी विदेश मंत्री से कहा कि इस अप्रत्याशित घटना से दोनों देशों संबंधों पर गंभीर प्रभाव पड़ेगा।
जयशंकर ने चीनी विदेश मंत्री वांग से कहा: चीनी कार्रवाई से यथास्थिति को नहीं बदलने संबंधी हमारे सभी समझौतों का उल्लंघन कर जमीनी स्तर पर तथ्यों को बदलने का इरादा जाहिर होता है।
जयशंकर ने कहा कि समय की मांग है कि चीनी पक्ष अपनी कार्रवाइयों का पुनर्मूल्यांकन करें और सुधारात्मक कदम उठायें। हालांकि दोनों नेताओं ने मतभेदों को दूर करने के लिए दोनों पक्षों को मौजूदा तंत्र के जरिए संचार और समन्वय मजबूत बनाने पर भी जोर दिया।
इससे पहले कल गलवान घाटी की झड़प के बाद विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी कर इस खूनी झड़प के लिए चीन को जिम्मेदार ठहराया था। भारतीय विदेश मंत्रालय की ओर से जारी बयान में कहा गया था कि पूर्वी लद्दाख में भारत और चीन की सेनाओं के बीच हिंसक झड़प क्षेत्र में यथास्थिति को एकपक्षीय तरीके से बदलने की चीनी पक्ष की कोशिश का नतीजा है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि दोनों पक्षों के जवान हताहत हुए हैं और यदि उच्च स्तर पर पहले हो चुके समझौते का चीनी पक्ष ईमानदारी से पालन करता तो इस स्थिति से बचा जा सकता था। (इनपुट-भाषा)