हैदराबाद। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने शनिवार को कहा कि भारत का उद्देश्य शांति और सौहार्द से सार्वभौमिक संतुलन बनाए रखने का था। भागवत ने एक समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि 'धर्म' भारत का उद्देश्य था जो दुनिया का अस्तित्व रहने तक प्रासंगिक रहेगा और यही भारत को एक शाश्वत और चिरस्थायी राष्ट्र बनाता है।
भागवत एनसीसी समूह द्वारा आयोजित एक समारोह को संबोधित कर रहे थे। इस समूह को भारत रत्न स्वर्गीय नानाजी देशमुख के मार्गदर्शन में स्थापित दीनदयाल शोध संस्थान की तरफ से 'एनसीसी समस्ति सेवा पुरस्कार' प्रदान किया गया। कंपनी की एक विज्ञप्ति के अनुसार इस अवसर पर संस्थान को एक करोड़ रुपये का चेक सौंपा गया।