नई दिल्ली: सरकार ने आज लोकसभा में कहा कि खाद्य सुरक्षा कानून के अनुरूप देश की 81 करोड़ जनता को दो रुपये प्रति किलोग्राम की दर से गेहूं और तीन रुपये प्रति किलोग्राम चावल अगले साल जून तक दिया जाता रहेगा।
खाद्य और उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान ने कहा कि भारत एकमात्र देश है जो देश की 81 करोड़ जनता को दो रुपये प्रति किलोग्राम की दर से गेहूं और तीन रुपये प्रति किलोग्राम चावल देता है।
उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 में हर तीन साल में सब्सिडी वाले खाद्यान्न के दामों की समीक्षा करने का प्रावधान था। उन्होंने प्रश्नकाल में कहा, लेकिन योजना को तीन साल हो गये हैं और हमने फैसला किया है कि 2018 जून तक इसी दाम पर गरीबों को खाद्यान्न देते रहेंगे। पासवान ने कहा कि इस दिशा में केंद्र अपना काम कर रहा है और यह सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी राज्यों की है कि कोई भूखा नहीं रहे।
मंत्री ने कहा कि देश में भंडारण क्षमता बढ़ाने के लिए सरकार ने निजी उद्यमियों, केंद्रीय वेयरहाउसिंग निगम और राज्य सरकार की एजेंसियों के माध्यम से भंडारण क्षमता निर्माण के लिए 2008-2009 में निजी उद्यमी गारंटी (पीईजी) योजना की शुरूआत की थी।
उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत निवेश और निर्माण निजी निवेशक या राज्य की एजेंसियां करती हैं।