श्रीनगर-गुलमर्ग राजमार्ग पर सोमवार को भीड़ द्वारा पथराव में तमिलनाडु के 22 वर्षीय पर्यटक आर. थिरुमणिकी मौत से कश्मीर के पर्यटन उद्योग को बड़ा झटका लगा है। पथराव की इस घटना में थिरुमणि की मां समेत परिवार के दो अन्य सदस्य भी घायल हुए थे। पर्यटकों को ले जा रहे करीब आधे दर्जन वाहनों पर पत्थरबाजों ने हमला किया था।
कश्मीर घाटी के लोग पूरी दुनिया में अपनी मेहमाननवाजी के लिए जाने जाते हैं। कश्मीरी हमेशा अपने यहां आनेवाले पर्यटकों को सिर आखों पर बिठाते हैं। इससे पहले हाल के दिनों में पर्यटकों पर हमले की एक भी खबर नहीं आई। सोमवार को हुई यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना एकदम अचानक से हुई जिसका कोई पूर्वानुमान भी नहीं था।
मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और सभी राजनीतिक नेताओं ने इस हमले की निंदा की है। घाटी में पर्यटकों के आगमन से पर्यटन इंडस्ट्री को काफी बल मिलता है और ये पर्यटन इंडस्ट्री की रीढ़ हैं। पर्यटकों के आगमन से यहां के लोगों को रोजगार मिलता है। शिकारा चलाने वाले, टैक्सी चलानेवाले और होटल से लेकर गाइड का काम करनेवाले लोग पूरी तरह से पर्यटकों पर निर्भर हैं। पर्यटकों के आगमन से यहां के लोगों की रोजी-रोटी चलती है। अब उन पर्यटकों पर पत्थर फेंके जाएं और पर्यटकों को इस सीजन में कश्मीर आने से डराया जाए यह कश्मीर के प्रति बहुत बड़ा अपराध है।
सोमवार की घटना से आतंकियों की हताशा स्पष्ट तौर पर जाहिर होती है जो कि सीमापार से मिलनेवाले निर्देशों पर काम करते हैं। इनलोगों को यह पता होना चाहिए कि वे अपने इन बेवकूफाना हरकतों से अपने कश्मीरी भाइयों को ही नुकसान पहुंचा रहे हैं। (रजत शर्मा)