नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खेती किसानी से जुड़े तीनों अध्यादेश गुरुवार (17 सितंबर) को लोकसभा में पास हो जाने पर किसानों को बधाई दी है। #JaiKisan के साथ पीएम मोदी ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि 'लोकसभा में ऐतिहासिक कृषि सुधार विधेयकों का पारित होना देश के किसानों और कृषि क्षेत्र के लिए एक महत्वपूर्ण क्षण है। ये विधेयक सही मायने में किसानों को बिचौलियों और तमाम अवरोधों से मुक्त करेंगे।'
पीएम मोदी ने कहा कि किसानों को भ्रमित करने में बहुत सारी शक्तियां लगी हुई हैं। मैं अपने किसान भाइयों और बहनों को आश्वस्त करता हूं कि MSP और सरकारी खरीद की व्यवस्था बनी रहेगी। ये विधेयक वास्तव में किसानों को कई और विकल्प प्रदान कर उन्हें सही मायने में सशक्त करने वाले हैं। इस कृषि सुधार से किसानों को अपनी उपज बेचने के लिए नए-नए अवसर मिलेंगे, जिससे उनका मुनाफा बढ़ेगा। इससे हमारे कृषि क्षेत्र को जहां आधुनिक टेक्नोलॉजी का लाभ मिलेगा, वहीं अन्नदाता सशक्त होंगे। ये कृषि क्षेत्र सुधार, किसानों को अपना उत्पादन बेचने के लिए नए अवसर उपलब्ध कराएंगे।
किसानों से जुड़ा पहला- कृषि उपज व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) बिल, 2020 और दूसरा- कृषि सेवाओं पर किसान (सशक्तिकरण और संरक्षण) समझौता विधेयक 2020 लोकसभा में पास होने पर केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि दोनों विधेयक किसान के जीवन में क्रांतिकारी बदलाव लाने वाले हैं। देश तो 1947 में आजाद हुआ लेकिन किसान मंडियों की जंजीरों में बंधा था। आज PM मोदी के नेतृत्व में इन विधेयकों के माध्यम से उन्हें आजादी मिली है। तीसरा बिल आवश्यक वस्तु (संशोधन) विधेयक लोकसभा में 15 सितंबर को ही पास हो गया था।
वोटिंग से पहले कांग्रेस, लेफ्ट और डीएमके ने सदन से किया वॉकआउट
खेती किसानी से जुड़े किसानों से जुड़े अब तीनों बिल राज्यसभा में जाएंगे। इसके साथ ही लोकसभा की कार्यवाही शुक्रवार (18 सितंबर) शाम तीन बजे तक के लिए स्थागित कर दी गई है। बता दें कि, बिल पर वोटिंग से पहले ही कांग्रेस, लेफ्ट और डीएमके ने सदन से वॉकआउट कर दिया था। सिर्फ विपक्ष ही नहीं बल्कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) का पुराना सहयोगी अकाली दल भी इन तीनों बिलों के विरोध में सरकार के खिलाफ है, जिसके चलते अकाली दल के कोटे से मोदी कैबिनेट में मंत्री हरसिमरत कौर बादल ने मंत्रीमंडल से त्यागपत्र दे दिया है।
अकाली दल प्रमुख सुखबीर सिंह बादल ने लोकसभा में साफ कहा कि शिरोमणि अकाली दल इस बिल का सख्त विरोध करता है। हर बिल जो देश के लिए हैं, देश के कुछ हिस्से उसे पसंद करते हैं। कुछ हिस्सों में उसका स्वागत नहीं होता है। किसानों को लेकर आए इन तीन बिलों से पंजाब के 20 लाख किसान प्रभावित होने जा रहे हैं। 30 हजार आढ़तिए, तीन लाख मंडी मजदूर और 20 लाख खेत मजदूर इससे प्रभावित होंगे।
केंद्र सरकार ने पांच जून 2020 को आवश्यक वस्तु (संशोधन) अध्यादेश, 2020, कृषि उत्पादन व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) अध्यादेश, 2020 और मूल्य आश्वासन पर किसान (बंदोबस्ती और सुरक्षा) समझौता और कृषि सेवा अध्यादेश, 2020 की अधिसूचना जारी की थी।