नयी दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में भारी बारिश और बाढ़ के कारण उत्पन्न स्थिति पर गुरुवार को राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के साथ चर्चा की और उन्हें केंद्र सरकार की तरफ से हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया। महाराष्ट्र के रत्नागिरी जिले में भारी बारिश के कारण एक नदी में आए उफान से कोंकण रेलवे ने रेल सेवाएं स्थगित कर दीं। इससे करीब छह हजार यात्री फंस गए। भारी बारिश के कारण राज्य के कई हिस्सों में सड़क एवं रेल यातायात बुरी तरह प्रभावित हुआ है।
अधिकारियों ने राहत कार्यों में सहयोग के लिए राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) को बुलाया है। मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री श्री उद्धव ठाकरे से बातचीत की और भारी बारिश एवं बाढ़ के कारण राज्य के कुछ हिस्सों में उत्पन्न स्थिति पर चर्चा की। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए केंद्र की तरफ से हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया। हर किसी की सुरक्षा एवं कुशलता की कामना करता हूं।’’
बाढ़ग्रस्त कोंकण में सेना और नौसेना की टीम तैनातभारतीय सेना और नौसेना की टीम महाराष्ट्र के बाढ़ प्रभावित कोंकण क्षेत्र के रायगढ़ और रत्नागिरी जिलों में बचाव अभियान में मदद कर रही है। राज्य सरकार ने बृहस्पतिवार शाम को यह जानकारी दी। मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से जारी बयान में बताया गया कि रत्नागिरी जिले में बचाव अभियान के लिए वायु सेना का एक हेलीकॉप्टर भी उपलब्ध कराया गया है। मुख्यमंत्री स्थानीय अधिकारियों के साथ लगातार संपर्क में हैं। कार्यालय ने बताया कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), तट रक्षक, नौसेना और सेना को क्षेत्र में तैनात किया गया है और राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने राहत एवं बचाव अभियान शुरू कर दिया है। बयान में कहा गया कि एनडीआरएफ दलों को पश्चिमी महाराष्ट्र के सांगली, सातारा और कोल्हापुर जिलों में भी भेजा गया है। कोल्हापुर के शिरोल और करवीर तहसील में दो दल तैनात किए गए हैं।
रत्नागिरी में बाढ़ ग्रस्त इलाकों में बचाव कार्य में खराब मौसम और बारिश की वजह से आ रही बाधा
महाराष्ट्र के रत्नागिरी जिले में लगातार भारी बारिश के बाद खेड़, चिपलून और कुछ अन्य कस्बे जलमग्न हो गए और कोंकण क्षेत्र में स्थित इस जिले में खराब मौसम और भारी बारिश की वजह से सरकारी एजेंसियों को बचाव अभियान में परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। राज्य के एक मंत्री ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी। एक अधिकारी ने बताया कि जिले के परशुराम घाट के पास दिन में भूस्खलन की वजह से दो लोगों की मौत हो गई।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से इससे पहले जारी बयान में बताया गया कि जगबुड़ी, वशिष्ठी, कोडावली, शास्त्री, बाव समेत रत्नागिरी जिले की प्रमुख नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। इसके परिणामस्वरूप खेड़, चिपलून, लांजा, राजापुर, संगमेश्वर कस्बे और आस-पास के इलाके प्रभावित हुए हैं और इन इलाकों में रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है।
राज्य के परिवहन मंत्री और रत्नागिरी के गार्जियन मंत्री अनिल परब ने कहा कि भारी बारिश के कारण जिले के कुछ हिस्सों से सड़क संपर्क पूरी तरह से टूट गया है। उन्होंने कहा, ‘‘ चिपलून कस्बा पूरी तरह से जलमग्न है। इसी तरह की स्थिति खेड़ में भी है। सभी रास्तों के बंद होने की वजह से इन इलाकों में जाने में मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। नगर निगम, तट रक्षक और राजस्व के बचाव दल निचले इलाक़ों में रहनेवाले लोगों को बाहर निकालने के लिए अपनी नावों का इस्तेमाल कर रहे हैं। हमने शादीगृह, विद्यालयों के इमारत खोल दिए हैं ताकि इन इलाक़ों से बाहर निकाले गए लोग रात में यहां शरण ले सकें।’’