नयी दिल्ली। रेलवे ने शुक्रवार (18 दिसंबर) को कहा कि सामान्य ट्रेन सेवाएं बहाल होने के संबंध में कोई निश्चित तारीख बताना संभव नहीं है और पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष अब तक यात्रियों से होने वाली आय में 87 प्रतिशत की कमी दर्ज की गयी है। रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष वीके यादव ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि मौजूदा वित्त वर्ष में यात्रियों से रेलवे को प्राप्त राजस्व 4,600 करोड़ रुपये है और अनुमान है कि मार्च 2021 तक यह राशि बढ़कर 15,000 करोड़ रुपये तक पहुंच जाएगी। पिछले साल रेलवे को यात्रियों से 53,000 करोड़ रूपये की आमदनी हुयी थी।
यादव ने हालांकि कहा कि यात्रियों से होने वाली आय में कमी की भरपाई माल ढुलाई से होने वाली आमदनी से हो जाएगी। माल ढुलाई से होने वाली आमदनी के पिछले साल के आंकड़ों को पार करने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि दिसंबर तक, राष्ट्रीय ट्रांसपोर्टर ने पिछले साल की माल ढुलाई का 97 प्रतिशत पहले ही हासिल कर लिया है। यादव ने कहा कि कोरोना वायरस महामारी के कारण रेल सेवाओं के स्थगित होने से रेलवे को यात्रियों से होने वाली आय में भारी नुकसान हुआ है।
यादव ने कहा कि सामान्य ट्रेन सेवाओं के फिर से शुरू होने के संबंध में कोई निश्चित तारीख बताना संभव नहीं है। महाप्रबंधक स्तर के अधिकारी राज्य सरकारों के साथ चर्चा कर रहे हैं और जब हमें अनुमति मिल जाएगी, हम सेवाएं फिर से शुरू कर देंगे। उन्होंने कहा कि स्थिति अब भी सामान्य नहीं हुयी है। उन्होंने कहा कि अभी जो ट्रेनें चल रही हैं, उनमें भी औसतन 30-40 प्रतिशत सीटें ही भरी होती हैं। यह दर्शाता है कि महामारी का भय अब भी बना हुआ है।
यादव ने कहा कि रेलवे अभी 1,089 विशेष रेलगाड़ियां चला रहा है, जबकि कोलकाता मेट्रो की 60 प्रतिशत सेवाएं चालू हैं वहीं मुंबई में 88 प्रतिशत उपनगरीय रेल सेवाएं चालू हैं जबकि चेन्नई में 50 प्रतिशत उपनगरीय सेवाएं परिचालनरत हैं। उन्होंने कहा कि रेलवे के वरिष्ठ अधिकारीगण स्थिति की बारीकी से निगरानी कर रहे हैं और सामान्य ट्रेन सेवाओं को "धीरे-धीरे" चरणबद्ध तरीके से पुन: शुरू किया जाएगा।