Monday, November 25, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. भारत
  3. राष्ट्रीय
  4. वेदांती का बड़ा बयान- धमकी समझिए या सुझाव, अयोध्या में कोई भी ताकत नहीं बनवा सकती मस्जिद

वेदांती का बड़ा बयान- धमकी समझिए या सुझाव, अयोध्या में कोई भी ताकत नहीं बनवा सकती मस्जिद

राम जन्म भूमि के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. रामविलास वेदांती ने शुक्रवार को यहां कहा कि राम जन्म भूमि पर दुनिया की कोई ताकत मस्जिद नहीं बनवा सकती है।

Reported by: IANS
Updated on: July 12, 2019 17:03 IST
Ram Janmbhoomi Nyas member Ram Vilas Vedanti- India TV Hindi
Ram Janmbhoomi Nyas member Ram Vilas Vedanti

लखनऊ: राम जन्म भूमि के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. रामविलास वेदांती ने शुक्रवार को यहां कहा कि राम जन्म भूमि पर दुनिया की कोई ताकत मस्जिद नहीं बनवा सकती है। डॉ़ वेदांती ने यहां पत्रकारों से बातचीत में कहा कि पाकिस्तान परस्त कुछ कट्टरपंथी ताकतें इस मसले को लटकाए रखकर देश का सांप्रदायिक सद्भाव बिगाड़ने का प्रयास कर रही हैं, लेकिन उन्हें मालूम होना चाहिए कि राम जन्मभूमि परिसर में दुनिया की कोई भी ताकत मस्जिद नहीं बनवा सकती। जब यह पूछा गया कि यह धमकी है या सुझाव तो वेदांती बोले, ''चाहे धमकी समझिए या सुझाव.... किसी कीमत पर कोई भी, जहां राम लला विराजमान हैं, वहां मस्जिद का निर्माण नहीं करा सकता।''

पूर्व सांसद वेदांती ने कहा कि राम जन्म भूमि पर हुई खुदाई में 12 भगवानों की मूर्तियां निकलीं, और मस्जिद संबंधी कोई प्रमाण नहीं मिला है। उन्होंने कहा, "अयोध्या में मंदिर तोड़कर मस्जिद के गुम्बद बनाए गए थे। जिस तरह पाकिस्तान और मलेशिया में काफी पहले तोड़े गए मंदिरों के स्थान पर फिर मंदिर बनवा दिए गए, वैसे ही भारत में क्यों नहीं हो सकता।"

वेदांती ने कहा, "देश के 80 फीसदी मुसलमान इस विवाद के जल्द समाधान के पक्ष में हैं। वे भी जन्मभूमि पर राम मंदिर देखना चाहते हैं, लेकिन सुन्नी वक्फ बोर्ड इस मसले को उलझाए रखना चाहता है, जिससे देश के अमन चैन को नुकसान पहुंचाया जा सके। इसके लिए उसे पाकिस्तान परस्त आतंकवादियों से धन मिलता है। शिया वक्फ बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी इस बारे में पहले ही बयान दे चुके हैं।"

उन्होंने कहा, "काशी, मथुरा और अयोध्या सहित देश भर में 30 हजार से अधिक मंदिरों को तोड़ कर मस्जिद बनाए गए, लेकिन संत समाज ने कभी 30 हजार मंदिरों की मांग नहीं की। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गुरु महंत अवैद्यनाथ समेत देश के संतों ने केवल तीन मंदिरों की मांग का प्रस्ताव रखा था, जिसमें काशी में विश्वनाथ मंदिर, मथुरा की कृष्ण जन्मभूमि और राम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर निर्माण शामिल हैं।

इस प्रस्ताव पर विहिप के पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष अशोक सिंहल और रामजन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष रहे रामचन्द्र परमहंस दास के हस्ताक्षर हैं। उस समय सुन्नी वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष सैयद शहाबुद्दीन ने कहा था कि अगर यह साबित हो जाए कि विवादित भूमि पर मंदिर के अवशेष हैं तो उन्हे मंदिर निर्माण पर कोई आपत्ति नहीं है। सैयद शहाबुद्दीन आज जीवित नहीं हैं, लेकिन सुन्नी वक्फ बोर्ड को प्रमाण मिलने के बाद उच्च न्यायालय से अपना दावा वापस ले लेना चाहिए था, लेकिन उसने ऐसा नहीं किया।"

डॉ. वेदांती ने कहा, "कुछ कट्टरपंथी मुसलमानों को छोड़कर सभी मुसलमान भी चाहते हैं कि राम जन्मभूमि पर रामलला का मंदिर बने। पाकिस्तान नहीं चाहता कि हमारे देश में शांति रहे। शिया वक्फ बोर्ड पहले ही इच्छा जता चुका है कि अयोध्या में मंदिर और लखनऊ के शिया बहुल इलाके में मस्जिद बनवा दी जाए। हां, यह बाबर के नाम पर न हो।"

Latest India News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। National News in Hindi के लिए क्लिक करें भारत सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement