भोपाल। मध्य प्रदेश में इन दिनों दूध और पेट्रोल-डीजल तो महंगा हुआ, लेकिन शराबियों को सहूलियतें दी गईं है। दरअसल ऐसा हम नहीं कह रहे बल्कि सूबे के लोग कह रहे हैं। दरअसल कमलनाथ सरकार शराब नीति में बदलाव कर मयखानों पर तो मेहरबान है, लेकिन दूध, पेट्रोल डीजल के बढ़ते दामों से बेफिक्र दिखाई पड़ती है।
गांधी जयंती पर किया शराब नीति में बदलाव
महात्मा गांधी को अपना बताकर दम भरने वाली कमलनाथ सरकार गांधी के सिद्धांतों से इतर मयखानों पर मेहरबान है। गांधी जयंती के 150 वें साल पर कैबिनेट बैठक में कमलनाथ सरकार ने शराब नीति को बदलते हुए वन क्षेत्रों में बार खोलने में ऐसी रियायत दी कि शराबियों को शराब कारोबारियों की आंखें खिल गईं।
एमपी सरकार ने शराब बिक्री बढ़ाने के लिए दी ये सहूलियतें!
- जंगलों से सटे रिसॉर्ट में बार के लिए अब 25 की जगह केवल 5 कमरे
- बार की सभी तरह की NOC भी 15 दिन में मिलने की गारंटी
- वन क्षेत्रों में बार के लिए 5 लाख से घटाकर डेढ़ लाख रुपए सालाना लाइसेंस फीस
- राष्ट्रीय उद्यानों और अभ्यारण्यों के 20 किलो मीटर दायरे में बार लायसेंस
बढ़ा दिए दूध के दाम, पेट्रोल डीजल पर बढ़ाया वैट
मयखानों पर इतनी मेहरबानी के बीच सरकारी उपक्रम सांची दूध के दामों 2 रुपए से पांच रुपए प्रति लीटर बढ़ा दिए हैं, तो पेट्रोल डीजल पर चार फीसदी वैट टैक्स से रोजमर्रा की इन जरूरतों ने मंहगाई से आम आदमी की कमर तोड़ दी है। लेकिन अपने फैसलों पर कमलनाथ सरकार के मंत्री के तर्क भी बेहद अजब हैं। कह रहे हैं कि ये सिर्फ वन क्षेत्रों में सैलानियों के लिए सुविधा है और वैट शराब पर भी लगा दिया गया है। वहीं डीजल पेट्रोल के दामों को लेकर केंद्र सरकार को जिम्मेदार बता रहे हैं।
महंगे हुए सांची के प्रोडेक्ट
- सांची गोल्ड, सांची स्टैंडर्ड समेत अन्य वेरिएंट के दूध के दाम 2 रुपए प्रति लीटर बढ़ाए गए।
- सांची चाय स्पेशल 35 से बढ़कर 40 रुपए प्रति लीटर
सत्ता में आने से पहले किया था पेट्रोल-डीजल के दाम कम करन का वादा
हैरानी की बात को ये कि कांग्रेस ने सत्ता में आने से पहले अपने वचन पत्र में बकायदा पेट्रोल डीजल के दाम कम करने का वादा किया था। लेकिन सत्ता में आते ही पेट्रोल डीजल पर 5 फीसदी वैट लगाकर तेल की कीमतों में मध्यप्रदेश देश में नंबर वन का तमगा लगवा दिया।
इतना बढ़ा वैट
- पेट्रोल पर 28 से बढ़ाकर 33 फीसदी वैट
- डीजल पर 18 से बढ़ाकर 23 फीसदी वैट
भाजपा ने खोला कमलनाथ सरकार के खिलाफ मोर्चा
रोजमर्रा की इन तमाम ज़रूरतों पर भी जैसे कमलनाथ सरकार ने मंहगाई का डंडा चलाया, भाजपा ने मोर्चा खोल दिया। भाजपा कह रही है कि खुद को गांधीवादी कहने वाली कांग्रेस सरकार शराबियों की सहूलियत देख रही है, लेकिन दूध और पेट्रोल-डीजल महंगे कर जनता की कमर तोड़ रही है।