नई दिल्ली। अगस्तावेस्टलैंड मामले में दुबई से प्रत्यर्पित होकर भारत लाए गए बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल की आज सीबीआई की विशेष अदालत में पेशी होने के बाद उसे और 5 दिन की हिरासत में भेज दिया गया है। अदालत में क्रिश्चियन को पेश करने के बाद CBI ने अपनी दलील में कहा कि वह जांच में सहयोग नहीं कर रहा, CBI ने बताया की मिशेल पूछताछ के दौरान टालमटोल कर रहा है।
CBI ने मिशेल की 9 दिन की हिरासत मांगी थी लेकिन कोर्ट ने 5 दिन की हिरासत पर भेजा है। इस बीच मिशेल ने पहले से दी अपनी जमानत याचिका को वापस ले लिया और नए सिरे से विस्तृत याचिका दायर की। कोर्ट में सुनवाई से पहले सोमवार सुबह क्रिश्चियन के वकील एल्जो जोसेफ सीबीआई हेडक्वार्टर पहुंचे, और क्रिश्चियन मिशेल से मुलाकात की।
बता दें कि अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर डील में कथित घोटाले के आरोपी और बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल को पिछले हफ्ते मंगलवार रात को दुबई से भारत लाया गया था। इसके बाद बुधवार को उसे दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने दोनो पक्षों की दलील सुनने के बाद मिशेल को 5 दिन के रिमांड पर भेजा है। मिशेल के वकील ने कोर्ट से न्यायिक हिरासत की मांग की थी जबकि सीबीआई के वकील रिमांड की मांग कर रहे थे, कोर्ट ने सीबीआई के वकील की दलील मानते हुए रिमांड पर भेजा था।
क्या है आरोप
आरोप है कि मिशेल ने सह-आरोपियों के साथ मिलकर आपराधिक षडयंत्र रचा। सह आरोपी में तत्कालीन वायुसेना प्रमुख एस पी त्यागी और उनके परिवार के सदस्य शामिल हैं। षड्यंत्र के तहत लोक सेवकों ने वीवीआईपी हेलीकॉप्टर की उड़ान भरने की ऊंचाई 6000 मीटर से घटाकर 4500 मीटर कर अपने सरकारी पद का दुरुपयोग किया। भारत सरकार ने आठ फरवरी 2010 को रक्षा मंत्रालय के जरिए ब्रिटेन की अगस्तावेस्टलैंड इंटरनेशनल लि़ को लगभग 55.62 करोड़ यूरो का ठेका दिया था। प्रवक्ता ने एक बयान में कहा कि मिशेल अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर्स का ‘‘ऐतिहासिक परामर्शदाता’’ बताया जाता है जिसे हेलीकॉप्टर, सैन्य अड्डों और पायलटों की तकनीकी संचालनात्मक जानकारी थी।
दुबई से भारत लाने में मिली सफलता
सीबीआई प्रवक्ता अभिषेक दयाल ने यहां बताया कि हेलीकॉप्टर घोटाले में अगस्ता वेस्टलैंड को ठेका दिलाने और भारतीय अधिकारियों को गैरकानूनी कमीशन या रिश्वत का भुगतान करने के लिए बिचौलिए के तौर पर मिशेल की संलिप्तता 2012 में सामने आई। उन्होंने बताया कि मिशेल जांच के लिए वांछित था लेकिन वह फरार हो गया और जांच में शामिल होने से बच रहा था। उसके खिलाफ पिछले साल सितंबर में आरोपपत्र दायर किया गया। उन्होंने कहा, ‘‘नयी दिल्ली के पटियाला हाउस में सीबीआई मामलों के विशेष न्यायाधीश ने 24 सितंबर 2015 की तिथि वाला खुला गैर जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया।’’ सीबीआई प्रवक्ता ने बताया कि इस वारंट के आधार पर इंटरपोल ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया जिससे फरवरी 2017 में उसे दुबई में गिरफ्तार कर लिया गया।