Highlights
- केरल में 39,955 लोगों की संक्रमण के कारण जान जा चुकी है।
- 14 जिलों में कोविड-19 के सबसे ज्यादा 666 मामले एर्नाकुलम में आए हैं।
- राज्य में संक्रमण का इलाज करा रहे मरीजों की संख्या घटकर 44,487 रह गई है।
तिरुवनंतपुरम: केरल में सोमवार को कोरोना वायरस से 117 संक्रमितों की मौत की पुष्टि हुई जबकि संक्रमण के 3382 नए मरीज़ मिले। एक विज्ञप्ति के मुताबिक, राज्य में कुल मामले 51,25,262 हो गए हैं जबकि 39,955 लोगों की संक्रमण के कारण जान जा चुकी है। केरल में 28 नवंबर को 4350 नए मामलों की पुष्टि हुई थी। विज्ञप्ति के मुताबिक, रविवार को 5779 लोग संक्रमण से उबरे हैं जिसके बाद संक्रमण मुक्त हो चुके लोगों की संख्या 50,51,998 हो गई है। राज्य में संक्रमण का इलाज करा रहे मरीजों की संख्या घटकर 44,487 रह गई है।
विज्ञप्ति के अनुसार, 14 जिलों में कोविड-19 के सबसे ज्यादा 666 मामले एर्नाकुलम में आए हैं। इसके बाद तिरुवनंतपुरम में 527 और कोझीकोड में 477 संक्रमित मिले हैं। विज्ञप्ति में बताया गया है कि 117 मौतों में से 59 पिछले कुछ दिनों में हुई हैं जबकि केंद्र सरकार के दिशा-निर्देशों व सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों के आधार पर मिली अपीलों के बाद 58 मृत्यु को कोविड से हुई मौत माना गया है।
इस बीच केंद्र ने केरल हाईकोर्ट को बताया कि सउदी अरब ने भारत से आने वाले यात्रियों पर से प्रतिबंध हटा लिया है। केंद्र ने अदालत को एक व्यक्ति की याचिका पर सुनवाई के दौरान यह जानकारी दी। याचिकाकर्ता ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर स्वीकृत वैक्सीन की तीसरी खुराक लगाने का अनुरोध किया था ताकि वह काम के लिए वापस खाड़ी देश जा सके। इस व्यक्ति ने कोवैक्सीन की दो खुराक लगवाई हैं। कोविड-19 के इस टीके को पहले सउदी अरब द्वारा मान्यता प्राप्त नहीं था।
व्यक्ति ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर राज्य और केंद्र को उसे कोविशील्ड जैसे अंतरराष्ट्रीय मान्यता प्राप्त वैक्सीन की तीसरी खुराक लगाने का निर्देश देने का अनुरोध किया था। याचिकाकर्ता, कोविड-19 महामारी शुरू होने से पहले खाड़ी देश में वेल्डर के तौर पर काम करता था। हाईकोर्ट ने इससे पहले केंद्र से पूछा था कि राज्य द्वारा लगाये गये वैक्सीन की वजह से यदि कोई नागरिक अपनी आजीविका खो देता है, तो क्या सरकार उसकी शिकायत का निवारण करने के लिए कर्तव्यबद्ध नहीं है?
केंद्र सरकार ने सोमवार को न्यायमूर्ति वी. वी. कुन्हीकृष्णन को बताया कि सउदी अरब ने भारत पर लगाये अपने यात्रा प्रतिबंध को वापस ले लिया है और इसलिए याचिका निरर्थक हो गई है। केंद्र की इस दलील का संज्ञान लेते हुए अदालत ने याचिका का निस्तारण कर दिया। बता दें कि दो नवंबर को हाईकोर्ट ने कहा था कि केंद्र की वैक्सीनेशन योजना ने भारत में नागरिकों का दो वर्ग बना दिया है-एक वे, जिन्हें कोवैक्सीन की खुराक लगी है और जिनकी आवाजाही सीमित हो गई है तथा दूसरे वे, जिन्हें कोविशील्ड लगी है और जो कहीं भी जा सकते हैं।