कठुआ (जम्मू-कश्मीर): एक तरफ कठुआ रेप और मर्डर केस में मासूम का केस लड़ रही वकील दीपिका सिंह राजावत को अपनी हत्या और रेप का डर सता रहा है। बच्ची के लिए इंसाफ की लड़ाई लड़ने वाली वकील ने गंभीर आरोप लगाए हैं। दीपिका ने बताया, ‘मेरी हत्या हो सकती है। मुझे नुकसान पहुंचाया जा सकता है। हो सकता है मुझे कोर्ट में प्रैक्टिस करने से ये रोक दें। मुझे धमकी दी गई है कि हम तुम्हें माफ़ नहीं करेंगे।’
बता दें कि जब से दीपिका राजावत ने इस केस को अपने हाथ में लिया है उन्हें धमकी मिल रही है और डराया जा रहा है। यही वजह है कि वो दिल्ली पहुंच गई है। उन्होंने आज देश की सबसे बड़ी अदालत में कठुआ केस को जम्मू-कश्मीर से बाहर केस ट्रांसफर करने के लिए अर्जी दाखिल की है।
दीपिका ने कहा, ‘मैं सुप्रीम कोर्ट में अपनी बात रखने वाली हूं। साहब मैं ख़तरे में हूं। मुझे बचाइए…नफरत की आंखों से देखा जाता है मुझे। मुझे अलग-थलग कर दिया गया है। मैं नहीं जानती मैं कैसे ज़िंदा रहूंगी। मैं वादा करती हूं कि हम अपनी लड़ाई जारी रखेंगे। हम इस 8 साल की लड़की के लिए इंसाफ लेकर रहेंगे। हमारा ज़िंदा रहना बहुत जरूरी है। हमारा ज़िंदा रहना इसलिए जरूरी है क्योंकि कल भी भगवान ना करे अगर हमारी बच्चियों के साथ ऐसा हुआ तो हम एक मंच पर आकर इन दरिंदों के साथ फिर से मुक़ाबला कर सकें।’
फेसबुक पर छलका दीपिका का दर्द
अभी ही नहीं पहले भी दीपिका राजावत को पहले भी कई बार जान से मारने की धमकी मिल चुकी है। एक वकील के ख़िलाफ़ केस लड़ने पर बार एसोसिएशन ने उनकी सदस्यता रद्द कर दी थी। अब उन्होंने जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष भूपिंदर सिंह सलाथिया पर भी धमकी देने का आरोप है। दीपिका ने अपने फेसबुक पेज पर भी अपना दर्द शेयर कर लिखा है, ‘बड़े दुख के साथ ये कह रही हूं कि भूपिंदर सिंह सलाथिया ने हड़ताल के दौरान मुकदमों की पैरवी करने पर हाईकोर्ट परिसर में असंसदीय शब्दों का इस्तेमाल किया और मुझे धमकी दी।’
दीपिका राजावत के आरोपों ने इस केस को एक नया मोड़ दे दिया है।