नयी दिल्ली: कारगिल अभियान में अहम भूमिका निभाने वाले एयर मार्शल रघुनाथ नांबियार ने शुक्रवार को भारतीय वायुसेना की पश्चिमी वायु कमान के एयर ऑफिसर कमांडिंग इन चीफ का कार्यभार संभाला। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। नांबियार राष्ट्रीय रक्षा अकादमी, खड़कवासला के छात्र रहे हैं। वह 11 जून, 1981 को युद्धक पायलट के रूप में वायु सेना की फ्लाइंग इकाई में शामिल हुए।
वायुसेना ने एक बयान में कहा कि एयर मार्शल नांबियार ने एक मार्च को पश्चिमी वायु कमान के एयर ऑफिसर कमांडिंग-इन-चीफ के रूप में कार्यभार संभाला। एयर मार्शल को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया और उन्होंने पश्चिमी वायु कमान के लिए अपने दृष्टिकोण को रेखांकित किया। उन्होंने सभी कर्मियों से उत्साह के साथ काम करने का आह्वान किया ताकि पश्चिमी वायु कमान वायुसेना और राष्ट्र के उद्देश्यों को पूरा करने में सक्षम हो सके।
बयान के अनुसार भारतीय वायुसेना में सबसे ज्यादा घंटों तक युद्धक विमान मिराज-2000 उड़ाने का रिकॉर्ड उनके नाम है। नांबियार के नाम विमान से कुल 5100 घंटे उड़ान भरने का अनुभव है जबकि लड़ाकू विमान उड़ाने का अनुभव 2300 घंटे का है। उन्हें कई पदकों से भी सम्मानित किया गया है। अधिकारियों ने कहा कि एयर मार्शल चंद्रशेखरन हरि कुमार 39 साल से अधिक के शानदार करियर के बाद बृहस्पतिवार को सेवानिवृत्त हुए।