मध्यप्रदेश की जनता को अपना नया मुख्यमंत्री मिल गया है। गुरुवार रात भोपाल में विधायक दल की बैठक के बाद मध्य प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष कमलनाथ को विधायक दल का नेता चुन लिया गया। हालांकि कमल नाथ के नाम पर मुहर कल दोपहर दिल्ली में लगी, लेकिन विधायक दल की बैठक के बाद इसकी औपचारिक घोषणा की गई। नौ बार से छिंदवाड़ा से सांसद 72 वर्षीय कमल नाथ मध्य प्रदेश के 18वें मुख्यमंत्री होंगे।
मुख्यमंत्री के रूप में चुने जाने के बाद कमलनाथ आज राज्यपाल आनंंदीबेेेन पटेल से मिले। राज्यपाल से मिलकर उन्होंने सरकार बनाने का दावा पेश किया। राज्यपाल से मुलाकात के बाद कमल नाथ ने बताया कि वे 17 दिसंबर को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। शपथ ग्रहण समारोह भोपाल के लाल परेड मैदान पर दोपहर 1.30 बजे होगा। मुख्यमंत्री के साथ कितने कैबिनेट मंत्री शपथ लेंगे, फिलहाल इसकी पुष्टि नहीं हो सकी है। विधानसभा चुनाव में राज्य की 230 सीटों में से कांग्रेस को 114 सीटें मिली है वहीं भाजपा को 109 सीट पर जीत मिली है। बसपा को दो और सपा को एक सीट मिली है।
नए इतिहास की शुरुआत हुई है- कमलनाथ
विधायक दल का नेता बनने के बाद कमलनाथ ने कहा, मैं मध्य प्रदेश की जनता का आभारी हूं और एमपी के लोगों के विश्वास को बरकरार रखूंगा। उन्होंने कहा, नए इतिहास की शुरुआत हुई है। हम अपने वचनपत्र को पूरा करेंगे।
दिन भर चली गहमा गहमी
इससे पहले गुरुवार शाम कमलनाथ ने राहुल के आवास के बाहर पत्रकारों से कहा, "मैं भोपाल जा रहा हूं। विधायक दल की बैठक होगी और उसके बाद आप सबको निर्णय का पता चल जाएगा।" मुख्यमंत्री पद के एक अन्य दावेदार माने जा रहे ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी राहुल से मुलाकात की और कहा कि निर्णय की घोषणा गुरुवार रात की जाएगी। उन्होंने कहा, "यह रेस नहीं है, यह कुर्सी के बारे में नहीं है। हम यहां मध्यप्रदेश के लोगों की सेवा करने के लिए हैं। मैं भोपाल जा रहा हूं और आपको आज (गुरुवार को) ही निर्णय की जानकारी मिल जाएगी।"
राहुल के पोस्ट की रही चर्चा
बैठक के बाद राहुल ने ट्विटर पर कमलनाथ और सिंधिया के साथ अपनी तस्वीर पोस्ट की और कहा, "दो सबसे शक्तिशाली योद्धा धर्य और समय हैं : लियो टॉल्सटॉय।"